

कानपुर देहात जिले में अतिक्रमण हटाये जाने के दौरान मां-बेटी की मौत पर उत्तर प्रदेश सरकार को घेरते हुए बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की सुप्रीमो मायावती ने बुधवार को कहा कि यह घटना राज्य सरकार की विज्ञापित वैश्विक निवेशक सम्मेलन से ज्यादा चर्चा में है, ऐसे में प्रदेश का जनहितकारी भला कैसे संभव है । पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर
लखनऊ: कानपुर देहात जिले में अतिक्रमण हटाये जाने के दौरान मां-बेटी की मौत पर उत्तर प्रदेश सरकार को घेरते हुए बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की सुप्रीमो मायावती ने बुधवार को कहा कि यह घटना राज्य सरकार की विज्ञापित वैश्विक निवेशक सम्मेलन से ज्यादा चर्चा में है, ऐसे में प्रदेश का जनहितकारी भला कैसे संभव है ।
बसपा नेता ने बुधवार को ट्वीट किया,''देश एवं खासकर उत्तर प्रदेश जैसे गरीबी, बेरोजगारी, महंगाई , पिछड़ेपन आदि से त्रस्त विशाल राज्य में भाजपा सरकार की लोगों को अति-लाचार एवं आतंकित करने वाली बुल्डोजर राजनीति से अब निर्दोष गरीबों की जान भी जाने लगी है, जो अति-दुखद एवं निन्दनीय है। सरकार अपना जनविरोधी रवैया बदले।''
उन्होंने कहा,''कानपुर देहात जिले में अतिक्रमण हटाने के नाम पर हुई ज्यादती एवं आगजनी की घटना के दौरान झोपड़ी में रहने वाली मां-बेटी की मौत तथा 24 घण्टे बाद उनके शव उठने की घटना उत्तर प्रदेश सरकार के विज्ञापित वैश्विक निवेशक सम्मेलन से ज्यादा चर्चा में है, ऐसे में उत्तर प्रदेश का जनहितकारी भला कैसे संभव है?''
गौरतलब है कि सोमवार शाम को कानपुर देहात जिले में रूरा थानाक्षेत्र के मडौली गांव में अतिक्रमण विरोधी अभियान के दौरान सोमवार को एक अधेड़ उम्र की महिला और उसकी बेटी ने कथित तौर पर अपनी झोपड़ी में खुद को आग लगा ली, जिससे दोनों की मौत हो गयी थी।
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