गोरखपुर के प्रॉपर्टी कारोबारी की कार से मिली करोड़ों की नकदी, नोट गिनते-गिनते थकी आईटी और पुलिस टीम

डीएन ब्यूरो

संदिग्ध वाहनों की जांच के दौरान उत्तर प्रदेश पुलिस को एक कार की डिक्की से इतना कैश मिला कि मौके पर आयकर विभाग की टीम को बुलाना पड़ा। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

प्रॉपर्टी कारोबारी की कार से मिली करोड़ों की नकदी
प्रॉपर्टी कारोबारी की कार से मिली करोड़ों की नकदी


मथुरा: यमुना एक्सप्रेस वे के मांट टोल प्लाजा पर संदिग्ध वाहनों की जांच के दौरान एक शख्स की कार से करोड़ों रुपये की नकदी बरामद हुई। नकदी इतनी ज्यादा थी कि पुलिस को मौके पर आयकर की टीम और रुपये गिनने के लिये मशीने मंगानी पड़ी। कार में मौजूद शख्स मौके पर नकदी से संबंधित कोई साक्ष्य या संतोषजनक दस्तावेज उपल्बध नहीं करा सका। आयकर टीम मामले की जांच में जुट गई है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार जानकारी के मुताबिक यह नकदी गुरूवार की रात एक स्विफ्ट डिजायर कार से बरामद की गई। कार चालक ने खुद को गोरखपुर निवासी अश्विनी बताया है और वह गुड़गांव में प्रॉपर्टी डीलिंग का काम करता है। बरामद नकदी कार की डिक्की में बैगों में रखी गई थी। 

यह भी पढ़ें | उत्तर प्रदेश: गोरखपुर के स्कूल में वाहन की चपेट में आकर आठ छात्र घायल, ग्राम प्रधान गिरफ्तार

बताया जाता है कि कार सवार अश्विनी सड़क मार्ग से रात के वक्त नोएडा से अपने घर गोरखपुर जा रहा था। मथुरा के मांट थाना इलाके में यमुना एक्सप्रेस वे पर चेकिंग टीम ने उसकी कार को रोका। मामला संदिग्ध लगने पर कार की डिक्की खोली गई।

कार की डिक्की में रखे बैगों में बड़ी मात्रा में नकदी देख चेकिंग टीम भी हैरान रह गई। करोड़ों कैश देख उच्चाधिकारियों को मामले की सूचना दी गई। आयकर टीम भी मौके पर पहुंची। बरामद नकदी के संबंध में कार चाल को जांच टीम को कोई संतोषजनक जानकारी नहीं दे सका, जिसके बाद उसे आगरा आयकर टीम के हवाले कर दिया गया। 

यह भी पढ़ें | मथुरा में ट्रक और ट्रैक्टर की टक्कर में तीन युवकों की मौत

कार में मिली रकम करीब दो करोड़ रुपये बताई जा रही है। पूछताछ में अश्विनी ने आयकर टीम को बताया कि उसने यह पैसा गुरुग्राम में प्रॉपर्टी डीलिंग के काम से कमाया है और वह पैसा घर रखने जा रहा था। 

बताया जा रहा है कि आयकर टीम ने उसे बरामद रकम का साक्ष्य प्रस्तुत करने के लिए चार-पांच दिन का समय दिया है। यदि वह उचित सबूत पेश नहीं कर सका तो उचित कार्यवाही की प्रक्रिया शुरू कर बरामद रकम को सरकारी कोष में जमा कर दिया जाएगा। मामले में जांच जारी है।










संबंधित समाचार