गाजियाबाद में गद्दा निर्माता पर रेड़, ऑर्थो और ट्रेडमार्क के जरिए कर रहे थे धोखाधड़ी, जानें पूरा मामला

जिले में बड़े तादात में नकली स्टिकर वाले ऑर्थो गद्दें बेचे जा रहे हैं। एक संयुक्त अभियान के चलाते दुकानों पर छापेमारी हुई, जिसके बाद हड़कंप मच गया। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

Post Published By: Mayank Tawer
Updated : 26 June 2025, 2:07 PM IST
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गाजियाबाद: इंदिरापुरम क्षेत्र में गद्दा निर्माता कंपनी ऑर्थो के कर्मचारियों और स्थानीय पुलिस बल ने एक संयुक्त अभियान चलाते हुए कई फर्नीचर और गद्दे की दुकानों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई उन शिकायतों के आधार पर की गई।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता को मिली जानकारी के अनुसार, जिनमें आरोप था कि कुछ दुकानदार ऑर्थो कंपनी के नाम और ट्रेडमार्क का दुरुपयोग कर नकली गद्दे ग्राहकों को बेच रहे हैं।

काफी समय से मिल रही थी शिकायतें

ऑर्थो कंपनी के प्रतिनिधियों ने बताया कि उन्हें लंबे समय से शिकायतें मिल रही थी कि इंदिरापुरम और आसपास के इलाकों में कई दुकानदार कंपनी के नाम का स्टिकर लगाकर नकली गद्दे बेच रहे हैं। इन गद्दों की गुणवत्ता कंपनी द्वारा बनाए गए वास्तविक उत्पादों से मेल नहीं खा रही थी, जिससे ग्राहकों में भ्रम की स्थिति पैदा हो रही थी और ब्रांड की साख पर असर पड़ रहा था।

दुकानों पर एक के बाद एक छापे

बुधवार को सुबह से ही कंपनी की एक विशेष टीम और इंदिरापुरम थाना पुलिस की मौजूदगी में क्षेत्र की प्रमुख फर्नीचर दुकानों पर छापेमारी की गई। इस दौरान दुकानों में रखे गए कई गद्दों पर ऑर्थो कंपनी का नाम और लोगो स्टिकर के रूप में चिपका पाया गया, लेकिन जब उन गद्दों की गुणवत्ता और निर्माण जांची गई तो पता चला कि वे ऑर्थो के असली उत्पाद नहीं थे।

दुकानदारों और कंपनी कर्मचारियों में नोकझोंक

छापेमारी के दौरान कुछ दुकानदारों ने विरोध भी जताया। उनका कहना था कि वे वही माल खरीदते हैं जो उन्हें थोक विक्रेताओं से मिलता है और उस पर पहले से ही ब्रांडिंग होती है। कई दुकानदारों ने यह भी दावा किया कि उन्हें नहीं मालूम था कि यह स्टिकर असली नहीं हैं। इस बीच कुछ स्थानों पर दुकानदारों और कंपनी कर्मचारियों के बीच तीखी बहस और हल्की नोकझोंक भी देखने को मिली।

ब्रांड को बदनाम करने की साजिश: ऑर्थो कंपनी

ऑर्थो कंपनी के अधिकारियों ने आरोप लगाया कि यह एक संगठित धोखाधड़ी है। जिसका मकसद कंपनी की छवि को धूमिल करना और नकली उत्पादों के माध्यम से लाभ कमाना है। कंपनी ने स्पष्ट किया कि उनके पास ट्रेडमार्क रजिस्टर्ड है और कोई भी व्यक्ति या संस्था बिना अनुमति उनके लोगो या ब्रांड का उपयोग नहीं कर सकती। कंपनी की ओर से यह भी बताया गया कि वह जल्द ही इस पूरे मामले को लेकर कानूनी कार्रवाई करेगी और जिन दुकानदारों के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य मिले हैं। उनके खिलाफ केस दर्ज कराया जाएगा।

पुलिस ने शुरू की जांच

इंदिरापुरम पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच शुरू कर दी है। फिलहाल जिन दुकानों से नकली ब्रांड वाले गद्दे बरामद किए गए हैं। उन्हें सील कर दिया गया है और नमूने फॉरेंसिक जांच के लिए भेजे जा रहे हैं। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि जांच के बाद दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी और आवश्यकतानुसार गिरफ्तारी भी हो सकती है।

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