DN Exclusive: UP लेखपाल भर्ती में आरक्षण पर बवाल, 7994 पोस्ट की बंपर भर्ती में क्या घोटाला हुआ? समझिए इस पूरे विवाद को

उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UPSSSC) द्वारा राजस्व लेखपाल के 7994 पदों पर भर्ती का नोटिफिकेशन जारी होते ही राज्य में आरक्षण को लेकर विवाद तेज हो गया है। खास तौर पर अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए तय पदों की संख्या को लेकर सवाल उठा रहे हैं। पढ़ें पूरी रिपोर्ट

Post Published By: Poonam Rajput
Updated : 19 December 2025, 3:08 PM IST

Lucknow: उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UPSSSC) द्वारा राजस्व लेखपाल के 7994 पदों पर भर्ती का नोटिफिकेशन जारी होते ही राज्य में आरक्षण को लेकर विवाद तेज हो गया है। खास तौर पर अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए तय पदों की संख्या को लेकर सवाल उठा रहे हैं। सोशल मीडिया से लेकर राजनीतिक मंचों तक इस मुद्दे पर बहस जारी है।

क्या है लेखपाल भर्ती का पूरा मामला?

16 दिसंबर 2025 को उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UPSSSC) ने राजस्व लेखपाल मुख्य परीक्षा का नोटिफिकेशन जारी किया, जिसके तहत कुल 7994 पदों पर भर्ती की जानी है। आयोग द्वारा जारी विवरण के अनुसार इनमें सामान्य वर्ग (UR) के लिए 4165 पद, अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए 1441 पद, आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) के लिए 792 पद, अनुसूचित जाति (SC) के लिए 1446 पद और अनुसूचित जनजाति (ST) के लिए 150 पद आरक्षित किए गए हैं।

ऐसे में OBC वर्ग के हिस्से में कम आरक्षण दिया गया है।  जिसको लेकर विवाद चल रहा है।  संविधान और राज्य की आरक्षण नीति के अनुसार जहां  OBC को 27% आरक्षण मिलना चाहिए, जिसके हिसाब से कुल 2158 पद OBC के लिए आरक्षित होने चाहिए थे। लेकिन नोटिफिकेशन में केवल 1441 पद दिए गए, यानी करीब 717 पद कम।  प्रतिशत के लिहाज से यह लगभग 18% ही बैठता है, जिसे लेकर नाराज़गी बढ़ गई है।

ओबीसी वर्ग के समर्थन में समाजवादी पार्टी

OBC वर्ग आरक्षण में सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने समर्थन करते हुए एक ट्वीट पोस्ट किया है। जिसमे उन्होंने खुद लिखा है कि किस तरह ओबीसी वर्ग का आरक्षण कम किया गया है और समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस मुद्दे पर भाजपा सरकार पर सीधा हमला बोला है।  उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट कर आरोप लगाया कि लोक सेवा आयोग में घोटाले हो रहे हैं और सबसे अधिक नुकसान पिछड़े वर्ग को उठाना पड़ रहा है।
उन्होंने ग्राफ के जरिए समझाया कि OBC की सीटें कैसे कम कर दी गई हैं।

 

इसके बाद सोशल मीडिया पर किए गए ट्वीट में अखिलेश यादव ने लिखा कि भाजपा OBC के लिए संविधान द्वारा तय 27% आरक्षण में से एक-तिहाई हिस्सा नकार रही है, जिससे उसका “संविधान-विरोधी और आरक्षण-विरोधी चेहरा” सामने आता है। उन्होंने भाजपा के नए प्रदेश अध्यक्ष से आगे आकर OBC आरक्षण की “हक़मारी” रोकने की मांग भी की।

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अभ्यर्थियों और शिक्षकों की नाराज़गी

अब इसको लेकर  OBC वर्ग में भारी आक्रोश है।  जब EWS को 10% के हिसाब से पूरे 792 पद दिए जा सकते हैं, तो OBC को उनके संवैधानिक अधिकार से क्यों वंचित किया जा रहा है। वही अब देखने वाली बात यह है कि भर्ती प्रक्रिया में संशोधन कर 27% के अनुसार 2158 पद OBC के लिए बहाल किए जाएं। इस खबर को लेकर आपकी क्या राय है हमे कॉमेंट में जरूर बताए।

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  • Lucknow

Published : 
  • 19 December 2025, 3:08 PM IST