आखिर क्या है बाइपोलर डिसऑर्डर, जानें कितना है इसका डेथरेट, पढ़ें पूरी रिपोर्ट

बीएमजे मेंटल हेल्थ पत्रिका में प्रकाशित एक नये अध्ययन के अनुसार ‘बाइपोलर डिसऑर्डर’ से ग्रस्त लोगों की इस तरह की समस्या से मुक्त लोगों की तुलना में दुर्घटना, हिंसा और आत्महत्या जैसे बाहरी कारकों से समयपूर्व मृत्यु की आशंका छह गुना अधिक होती है। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

Updated : 19 July 2023, 6:49 PM IST
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नयी दिल्ली: बीएमजे मेंटल हेल्थ पत्रिका में प्रकाशित एक नये अध्ययन के अनुसार ‘बाइपोलर डिसऑर्डर’ से ग्रस्त लोगों की इस तरह की समस्या से मुक्त लोगों की तुलना में दुर्घटना, हिंसा और आत्महत्या जैसे बाहरी कारकों से समयपूर्व मृत्यु की आशंका छह गुना अधिक होती है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, फिनलैंड में हुए जनसंख्या आधारित अध्ययन के अनुसार ऐसे लोगों की हृदय या श्वसन रोगों या कैंसर जैसी बीमारियों के कारण समयपूर्व मृत्यु की आशंका सामान्य लोगों से दोगुनी अधिक होती है और शराब इसमें बड़ा कारण होती है।

नियुवानियेमी अस्पताल, फिनलैंड और स्वीडन तथा ब्रिटेन के अन्य अस्पतालों के अनुसंधानकर्ताओं ने कहा कि बाईपोलर डिसऑर्डर से ग्रस्त लोगों को समयपूर्व मृत्यु का खतरा अधिक होता है, हालांकि इसमें शारीरिक बीमारियों समेत अन्य कारक कितने जिम्मेदार होते हैं, यह स्पष्ट नहीं है।

अनुसंधान में बाइपोलर डिसऑर्डर से ग्रस्त 47,018 लोगों को शामिल किया गया जिनकी औसत आयु अध्ययन की निगरानी अवधि शुरू होने के समय 38 साल थी। यह अध्ययन 2004 से 2018 तक चला।

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