अफगानिस्तान में एक भारतीय ट्रैवल व्लॉगर के साथ हुई छोटी-सी घटना सोशल मीडिया पर दिल जीत रही है। एक जूस विक्रेता ने उन्हें “मेहमान” कहकर पैसे लेने से मना कर दिया। इस वीडियो ने अफगान संस्कृति की मेहमाननवाज़ी और इंसानियत को नई रोशनी में दिखाया।

अफगान जूस विक्रेता का छोटा-सा जेस्चर इंटरनेट पर छाया
New Delhi: अफगानिस्तान में एक भारतीय ट्रैवल व्लॉगर के साथ हुई एक साधारण-सी घटना इन दिनों सोशल मीडिया पर लोगों के दिल छू रही है। भारतीय व्लॉगर कैलाश मीणा ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो साझा किया, जिसमें वे अफगानिस्तान की एक छोटी जूस की दुकान पर ताज़ा अनार का जूस पीते दिखाई देते हैं।
जूस खत्म होने पर जब वे पैसे देने की कोशिश करते हैं, तो जूस विक्रेता मुस्कुराते हुए पैसों से इनकार कर देता है। वह उन्हें “मेहमान” कहकर संबोधित करता है, एक ऐसा शब्द जो अफगान संस्कृति का गहरा सम्मान और अपनापन दर्शाता है।
अफगानिस्तान में मेहमाननवाज़ी सिर्फ एक परंपरा नहीं, बल्कि जीवन का अहम हिस्सा है। स्थानीय लोग मानते हैं कि मेहमान खुदा की देन होते हैं और उनका आदर करना एक कर्तव्य है। इस वीडियो में दिखता है कि कैसे एक साधारण दुकानदार भी इसी संस्कृति को दिल से निभाता है। जूस देने वाला व्यक्ति न सिर्फ पैसे लेने से मना करता है बल्कि मुस्कुराते हुए मीणा से कहता है कि वे उनके देश के अतिथि हैं।
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पास खड़े एक स्थानीय व्यक्ति भी इस जेस्चर को सराहते हैं और समझाते हैं कि भारत से आने वाले यात्रियों को वे अपने देश का मेहमान मानते हैं। यह भाव अफगान समाज की सदियों पुरानी सहृदयता और मानवीय मूल्यों की झलक है।
यह वीडियो Baba Banaras नामक युवक ने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर शेयर किया। लोग इस छोटे-से जेस्चर और जूस विक्रेता की मेहमाननवाज़ी की खूब तारीफ कर रहे हैं और वीडियो को प्यार दे रहे हैं।
The bond between Afghans and Indians is something Pakistan can never understand. Every Indian who visits Afghanistan has just one complaint, Afghans refuse to take money for food, stay, or shopping. To them, Indians aren’t customers, they’re brothers and honoured guests. pic.twitter.com/N3FTiUOlYu
— Baba Banaras™ (@RealBababanaras) November 10, 2025
यह वीडियो पोस्ट होने के बाद देखते ही देखते वायरल हो गया। अब तक इसे दो मिलियन से अधिक व्यूज़ मिल चुके हैं और हजारों टिप्पणियाँ आ चुकी हैं। एक यूज़र्स ने लिखा, हम सच में आपसे प्यार करते हैं अफगानिस्तान। दूसरे यूज़र्स ने लिखा, अफगानिस्तान… भारतीय आपको बहुत मानते हैं। वहीं तीसरे यूज़र्स ने लिखा, यह शुद्ध इंसानियत है, प्रेरणादायक।”
सोशल मीडिया पर लोगों ने इस सरल जेस्चर को दुनिया के सामने अफगानिस्तान की एक अलग और सकारात्मक छवि के रूप में देखा। कई भारतीय दर्शकों ने लिखा कि यह वीडियो बताता है कि दुनिया में अभी भी इंसानियत ज़िंदा है, बस उसे देखने की जरूरत है।
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कैलाश मीणा ने भी वीडियो में कहा कि यह पल उन्हें भीतर तक छू गया। उनकी आवाज़ और चेहरे की भावनाएं दिखाती हैं कि यह अनुभव सिर्फ यात्रा का हिस्सा नहीं था, बल्कि एक मानवीय जुड़ाव था।
यह वीडियो फिर साबित करता है कि भाषा, धर्म, देश और सीमाएँ चाहे कितनी भी अलग हों, इंसानियत की भाषा सबसे बड़ी होती है। छोटी-सी नेकी भी दिलों के बीच पुल बना सकती है और यही इस घटना का सबसे सुंदर संदेश है।
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