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Dehradun: 131 बालिकाओं ने सिर पर उठाए कलश, डोईवाला में नवरात्रि की धूमधाम से निकली भव्य यात्रा!

नवरात्रि के अवसर पर डोईवाला में 131 बालिकाओं ने कलश सिर पर उठाकर यात्रा निकाली। यात्रा मंदिर से शहर के कई स्थानों से होकर निकली, भक्तों ने भक्ति गीतों पर झूमते ऊँचे जयकारे लगाए। आयोजन मां दुर्गा शक्ति समिति द्वारा किया गया।
Post Published By: Tanya Chand
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Dehradun: 131 बालिकाओं ने सिर पर उठाए कलश, डोईवाला में नवरात्रि की धूमधाम से निकली भव्य यात्रा!

Dehradun: नवरात्रि के शुभ अवसर पर डोईवाला में एक भव्य कलश यात्रा निकाली गई, जिसमें 131 बालिकाएं अपने सिरों पर कलश उठाए पूजन‑यात्रा का हिस्सा बनीं। इस आयोजन को मां दुर्गा शक्ति सेवा समिति, डोईवाला ने धूमधाम से आयोजित किया। कलश यात्रा से पूर्व मंदिर में माँ दुर्गा के नौ रूपों की पूजा-अर्चना की गई, जिसके लिए भारी संख्या में श्रद्धालु पहुँचे।

यात्रा की शुरुआत और मार्ग

रविवार को देर सुबह दुर्गा मंदिर से यात्रा की शुरुआत हुई। कलश यात्रा, मंदिर परिसर से निकलकर केशव पुरी, मिल रोड, गोवर्धन मंदिर और अन्य मार्गों से होते हुए वापस दुर्गा मंदिर पर समाप्त हुई। इस दौरान पूरे मार्ग पर भक्तिमय वातावरण बना रहा, श्रद्धालु झूमते-गाते, जयकारा लगाते और नवरात्रि की गरिमा का हिस्सा बनते हुए कलश यात्रा में शामिल हुए।

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बालिकाओं की भागीदारी बनी खास आकर्षण

कलश यात्रा में बड़ी संख्या में बालिकाओं ने भाग लिया कुल 131 ने अपने सिरों पर कलश सजाकर इस यात्रा का हिस्सा बनीं। यह आयोजन विशेष महत्व इसलिए लेता है क्योंकि युवा पीढ़ी को धार्मिक परंपरा से जोड़ने का यह एक प्रभावशाली तरीका है। बालिकाओं का उत्साह और श्रद्धा दोनों ही यात्रा को सजाया।

भक्ति और गीतों से सजी यात्रा

यात्रा के दौरान भक्तिगान, भजन और दुर्गा स्तुति गीत पूरे स्वर से गाए गए। श्रद्धालु झूमते दिखे, जय दुर्गे, जय भवानी के उद्घोष के साथ पथ-प्रदर्शन किया गया। युवाओं की टोली और स्थानीय संगीत संगठनों ने भी कार्यक्रम को रंगीन बनाया।

समिति की भूमिका और वार्षिक परंपरा

मां दुर्गा शक्ति समिति के अध्यक्ष मनिंदर पाल ने बताया कि यह कलश यात्रा पिछले 22 वर्षों से निरंतर धूमधाम से निकाली जाती है। हर वर्ष यह आयोजन बढ़ते स्वरूप में होता रहा है। यात्रा का मार्ग परंपरागत रूप से पहले दुर्गा मंदिर से शुरू होता है, फिर केशव पुरी, मिल रोड, गोवर्धन मंदिर होते हुए वापस मंदिर पर समाप्त होती है। नावमी के दिन विशाल भंडारे का आयोजन भी समिति करती है।

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समिति और जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति

इस आयोजन में समिति के सदस्यों अध्यक्ष मनिंदर पाल, कोषाध्यक्ष शेर सिंह, सदस्य शंभु, राधे भंडारी, उपेंद्र सहानी, राजेंद्र सहानी, रमेश, सोलेंदर, वीरेंद्र, सुभाष राम, सभासद अमित कुमार आदि ने सक्रिय भूमिका निभाई। इसके अलावा क्षेत्र के जनप्रतिनिधि और बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित रहे और आयोजन को सफल बनाने में योगदान दिया।

 

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