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कन्नौज में हुए बवाल में पुलिस की बड़ी कारवाही, 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज

तिर्वा कोतवाली क्षेत्र में हुए बवाल के बाद पुलिस एक्शन मोड में नजर आ रही हैं। पुलिस पर हमला करने वाले 10 नामजद सहित 20 से 25 अज्ञात लोगों पर गंभीर धाराओं में मुकदमा हुआ दर्ज किया गया हैं। पुलिस ने सरकारी कार्य मे बाधा, पथराव, सरकारी व निजी वाहन क्षतिग्रस्त करने सहित आरोपियों पर कई गंभीर धाराए लगाई गई हैं। मृतक के भाई के खिलाफ भी पुलिस ने मामला दर्ज किया हैं। 
Post Published By: Rohit Goyal
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कन्नौज में हुए बवाल में पुलिस की बड़ी कारवाही, 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज

Kannauj: कन्नौज के तिर्वा कोतवाली क्षेत्र में हुए बवाल के बाद पुलिस एक्शन मोड में नजर आ रही हैं। पुलिस पर हमला करने वाले 10 नामजद सहित 20 से 25 अज्ञात लोगों पर गंभीर धाराओं में मुकदमा हुआ दर्ज किया गया हैं। पुलिस ने सरकारी कार्य मे बाधा, पथराव, सरकारी व निजी वाहन क्षतिग्रस्त करने सहित आरोपियों पर कई गंभीर धाराए लगाई गई हैं। मृतक के भाई के खिलाफ भी पुलिस ने मामला दर्ज किया हैं।

क्या था मामला

बिजली निगम के संविदाकर्मी की मौत के बाद पुलिस द्वारा शव जबरिया उठाने को लेकर भीड़ आक्रोशित हो गई और पुलिस पर हमला बोल दिया। पुलिस भी बिगड़ते हालातों को भांप नहीं पाई व बिना तैयारी के गई थी। बवाल में कई पुलिसकर्मी पिट गए। उन्हें बॉडी प्रोटेक्टर और हेलमेट पहनने का मौका तक नहीं मिला।

मारपीट के वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहे हैं। एक वीडियो सपा मुखिया अखिलेश यादव ने भी अपने एक्स हैंडिल पर पोस्ट किया है, जिसमें कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए गए हैं। साथ ही मृतक के परिजनों को एक करोड़ रुपये मुआवजा दिए जाने की मांग की है।

परिजन मुआवजे और भाई को सरकारी नौकरी देने की मांग पर अड़े थे। पुलिस ने रणनीति बनाई कि यदि शव को उठाकर मोर्चरी भेज दिया जाए तो परिजन वहां चले जाएंगे और जाम खुल जाएगा। पुलिस का यह दांव उल्टा पड़ गया। शव को उठाने के लिए लाठी पटकते हुए जब पुलिसकर्मी पहुंचे तो वहां महिलाओं ने सीओ डॉ. प्रियंका बाजपेयी व इंदरगढ़ थानाध्यक्ष पारुल चौधरी पर हमला बोल दिया।

उनके साथ गईं महिला दीवान नसीबा खातून, महिला सिपाही मयूरी, आकांक्षा व मनोरमा भी घायल हो गईं। पथराव से सीओ समेत कई वाहन क्षतिग्रस्त हो गए। तीन घंटे तक बवाल करने के बाद परिजन ट्रैक्टर ट्राली पर शव रखकर गांव चले गए और शव को घर पर रखने की बजाय खेत में छिपा दिया, जिससे कि पुलिस उसे न ले जा सके। डीएम आशुतोष मोहन अग्निहोत्री व एसपी विनोद कुमार के समझाने के बाद परिजन पोस्टमार्टम कराने को तैयार हुए।

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