Site icon Hindi Dynamite News

Krishna Janmashtami: श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की बलिया में खास तैयारियां, घर-घर समारोह

पूरे देश में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव समारोह की व्यापक तैयारियां की जा रही है। श्रीकृष्ण जन्मोत्सव पर इस बार उत्तर प्रदेश के बलिया में भी खास तैयारियां की गई है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
Post Published By: डीएन ब्यूरो
Published:
Krishna Janmashtami: श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की बलिया में खास तैयारियां, घर-घर समारोह

बलिया:(Ballia) जनपद के नगर से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों के प्रत्येक घरों में भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव (Krishna Janmashtami) की तैयारियां आरम्भ हो गई है। वहीं कुछ कमेटियों द्वारा पंडाल बनाकर उसमें मूर्ति स्थापित कर भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव मनाया जायेगा। पूरे जनपद में जगह-जगह श्रीकृष्ण जन्मोत्सव (Birth-Anniversary) के लिये भक्त व्यापक तैयारियों में जुटे हुए हैं। हर मंदिर,(Tample) हर घर सजाया जा रहा है। 

भगवान कान्हा की झांकी सजाने के लिए लोगों ने राधे-कृष्ण की विभिन्न स्वरूपों की मूर्तियों के साथ ही कान्हा के वस्त्र, मुकुट, सिंहासन, गद्दी के साथ ही साज-सजा के सामानों की श्रद्घालुओं ने खरीददारी की।

जन्माष्टमी में बाजारों में खरीदारी करते लोग

जारशोरों से चल रही श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की तैयारी
भाद्रपद कृष्ण पक्ष के अष्टमी तिथि सोमवार (26 अगस्त) को भगवान श्रीकृष्ण का जन्म प्रत्येक घरों में होगा। जबकि मंदिरों में उसके अगले दिन जन्मोत्सव साधु संतों द्वारा मनाया जाएगा। इसकी तैयारी नगर से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में जोरों पर चल रही है। 

नगर के पुलिस लाइन, शहर कोतवाली सहित जनपद के सभी थानों एवं चौकियों में भगवान श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की तैयारी की जारी है।  

श्रीकृष्ण जन्माष्टमी में बाजरों में दिखी रौनक

कारागार में भी धूमधाम से मनाई जाएगी जन्माष्टमी
इसके अलावा जिला कारागार में मुरलीधर का जन्मोत्सव बंदीरक्षक व निरूद्घ कैदियों द्वारा धूमधाम से मनाया जाएगा। नगर से सटे मिड्ढा गांव में झांकी सजाई जा रही है। जबकि सुखपुरा थाना के बसंतपुर गांव में विभिन्न कमेटियों द्वारा पंडाल बनाकर कान्हा की मूर्तियां स्थापित कर पूजा की जाती है। 

श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व के लिए बाजारों में धूम

इस दिन लोग व्रत भी रखते है। जबकि कुछ लोग निर्जला व्रत भी रहते है।

बता दें कि सोमवार को कान्हा प्रत्येक घरों में रात के 12 बजे जन्म लेंगे। इनके जन्म लेने के बाद महिलाएं पारम्परिक गीत सोहर गाती है। तत्पश्चात आरती व प्रसाद का वितरण कर व्रती लोग पारण करते है।

Exit mobile version