नई दिल्ली: रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग ने एक बार फिर भयावह मोड़ ले लिया है। बीते शनिवार की रात रूस ने यूक्रेन के कई शहरों पर करीब 9 घंटे तक मिसाइलों और ड्रोन से भीषण हमला किया। इसके जवाब में यूक्रेन ने रूस के भीतर अब तक का सबसे बड़ा ड्रोन ऑपरेशन चलाया, जो सीधे साइबेरिया तक पहुंच गया। इस पलटवार में यूक्रेनी सेना ने रूस के चार प्रमुख एयरबेस पर हमले कर दिए, जिससे वहां भारी तबाही मच गई।
यूक्रेनी शहरों में मची तबाही
शनिवार देर रात रूस ने यूक्रेन की राजधानी कीव समेत खारकीव, ओडेसा, ज़ापोरिज्जिया और दनिप्रोप्रेतरोव्स्क जैसे बड़े शहरों पर मिसाइलों और ड्रोन से हमला बोला। इन हमलों में सैन्य और नागरिक दोनों क्षेत्रों को निशाना बनाया गया।
खासकर कीव में कई आवासीय इमारतें क्षतिग्रस्त हो गईं, हालांकि वहां किसी की मौत की पुष्टि नहीं हुई। वहीं, एक सैन्य प्रशिक्षण केंद्र पर हमला बेहद घातक रहा, जहां 12 लोगों की मौत और 60 से अधिक घायल हुए हैं। बैंक शाखाओं, गोदामों और अन्य सार्वजनिक संपत्तियों को भी निशाना बनाया गया। यूक्रेन का दावा है कि ये हमले लगातार 9 घंटे तक जारी रहे।
रूस के एयरबेस तबाह
रूसी हमले के कुछ ही घंटों बाद यूक्रेन ने भी बड़ा पलटवार किया। यूक्रेनी सेना ने दावा किया है कि उसने रूस के भीतर साइबेरिया क्षेत्र तक ड्रोन हमले किए हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यूक्रेन ने रूस के चार सैन्य एयरबेस पर एकसाथ हमले किए।
इनमें बेलाया और ओलेन्या जैसे प्रमुख एयरबेस शामिल हैं। इन हमलों में रूस के करीब 40 से अधिक बमवर्षक विमान तबाह कर दिए गए हैं। रिपोर्ट्स के अनुसार, इन विमानों में रूस के सबसे उन्नत Tu-95 और Tu-22M3 जैसे बमवर्षक शामिल हैं, जो यूक्रेन के खिलाफ बड़े हमलों में इस्तेमाल किए जाते थे।
शांति वार्ता से ठीक पहले युद्ध तेज
रूस और यूक्रेन के बीच 2 जून को इस्तांबुल में होने वाली शांति वार्ता से पहले दोनों देशों की ओर से हुए यह हमले अंतरराष्ट्रीय समुदाय की चिंता बढ़ा रहे हैं। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर ज़ेलेंस्की ने कहा है कि वार्ता की हमारी प्राथमिकता युद्धविराम, युद्धबंदियों की वापसी और जबरन ले जाए गए बच्चों की घर वापसी है। हालांकि, हालिया हिंसक घटनाओं ने इन प्रयासों को कमजोर कर दिया है। अब देखना यह होगा कि प्रस्तावित वार्ता पर इन हमलों का क्या असर पड़ता है।