New Delhi: शेयर बाजार में आज का दिन उतार-चढ़ाव से भरा रह सकता है। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत पर 25 फीसदी टैरिफ लगाने की घोषणा के बाद वैश्विक स्तर पर अस्थिरता का माहौल बन गया है। बुधवार को भारतीय शेयर बाजार हरे निशान में बंद हुए, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि ट्रंप के इस बयान का असर गुरुवार यानी आज के कारोबारी सत्र में साफ नजर आ सकता है।
बुधवार को कारोबारी सत्र के अंत में बीएसई सेंसेक्स 143.91 अंक (0.18%) की बढ़त के साथ 81,481.86 पर बंद हुआ। वहीं, एनएसई निफ्टी 33.95 अंक (0.14%) की तेजी के साथ 24,855.05 पर बंद हुआ। बाजार में आईटी और इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर ने मजबूती दिखाई। निफ्टी आईटी इंडेक्स में 0.31% और निफ्टी इंफ्रा इंडेक्स में 0.50% की बढ़त देखी गई।
किस सेक्टर ने दिखाई मजबूती, कौन रहा कमजोर?
बाजार में बुधवार को फार्मा, एफएमसीजी, एनर्जी, कमोडिटी और सर्विसेज सेक्टर हरे निशान में बंद हुए, जबकि ऑटो, पीएसयू बैंक, मेटल, रियल्टी और प्राइवेट बैंकिंग सेक्टर में गिरावट दर्ज की गई। मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में दबाव बना रहा। निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स 42.60 अंक की गिरावट के साथ 57,942.25 और निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स 94.60 अंक की कमजोरी के साथ 18,156.85 पर बंद हुआ।
टॉप गेनर्स और लूजर्स की लिस्ट
सेंसेक्स पैक में L&T, सन फार्मा, एनटीपीसी, मारुति, भारती एयरटेल, एक्सिस बैंक, एमएंडएम, एशियन पेंट्स, टेक महिंद्रा, एसबीआई, इन्फोसिस और एचसीएल टेक टॉप गेनर्स रहे। वहीं दूसरी ओर, टाटा मोटर्स, पावर ग्रिड, जोमैटो (इटरनल), बजाज फिनसर्व, एचयूएल, कोटक महिंद्रा, रिलायंस, आईसीआईसीआई बैंक और आईटीसी जैसे दिग्गज शेयर नुकसान में रहे।
इन शेयरों पर बनी है नजर
आज जिन शेयरों में खरीदारी की संभावना मजबूत दिख रही है, उनमें New India Assurance, Sumitomo Chemical, Jubilant Life, Avenue Supermarts, Siemens Energy India, Craftsman Automation और Coromandel International शामिल हैं। इन कंपनियों के शेयरों में लगातार तेजी देखी जा रही है और 144 से ज्यादा शेयर अपने 52 हफ्ते के उच्चतम स्तर पर पहुंच गए हैं।
इन स्टॉक्स में मंदी के संकेत
वहीं, MACD (Moving Average Convergence Divergence) संकेतक के अनुसार Redington, Triveni Engineering, Five-Star Business Finance, Reliance Power, Zen Technologies, Blue Dart Express और JM Financial जैसे स्टॉक्स में कमजोरी के संकेत मिले हैं। इसका मतलब है कि इन शेयरों में गिरावट का रुख बन सकता है।
क्या हो सकता है आगे?
विशेषज्ञों का मानना है कि अमेरिका में फेडरल रिजर्व की ओर से ब्याज दरों को लेकर संभावित घोषणा और ट्रंप के टैरिफ वाले बयान से बाजार में अल्पकालिक अस्थिरता रह सकती है। निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे किसी भी निर्णय से पहले मौजूदा आर्थिक और राजनीतिक परिस्थितियों का विश्लेषण करें।
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