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रायबरेली के ग्रामीण इलाकों में सड़कों का बुरा हाल, राहगीर हो रहे दुर्घटना का शिकार, विभागों ने साधा मौन

रायबरेली जनपद के ग्रामीण इलाकों में सड़कों का बुरा हाल है, जिसके कारण कोई न कोई दुर्घटना घटित हो जा रही है। पढिये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी खबर
रायबरेली के ग्रामीण इलाकों में सड़कों का बुरा हाल, राहगीर हो रहे दुर्घटना का शिकार, विभागों ने साधा मौन

रायबरेली: जनपद के ग्रामीण इलाकों में सड़कों का बुरा हाल है। सरेनी क्षेत्र में पाठक खेड़ा और मदनापुर गांवों को जोड़ने वाले पुल पर यातायात संकेतों की कमी से दुर्घटनाओं का खतरा बढ़ गया है। पुल पर न तो कोई चेतावनी बोर्ड है और न ही गति सीमा का संकेत। संकरी सड़क और पुल के दोनों ओर झुकाव के कारण वाहन चालकों को परेशानी होती है। धुंध और रात में कम दृश्यता के कारण वाहन पुल से नीचे गिर जाते हैं। कई बार जानमाल की हानि हो चुकी है।

अधिकारियों से कई बार की शिकायत
ग्राम प्रधान अमित कुमार और रामकुमार के अनुसार हर साल यहां 2-3 दुर्घटनाएं होती हैं। अधिकारियों से कई बार शिकायत की गई, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। ग्रामीणों ने पुल के दोनों सिरों पर यातायात संकेत, गति सीमा बोर्ड और रिफ्लेक्टर लगाने की मांग की है। साथ ही पुल की मरम्मत और सुरक्षा रेलिंग की भी मांग की है। उनका कहना है कि अगर जल्द कार्रवाई नहीं हुई तो वे आंदोलन करेंगे।

ओवरलोड वाहनों के आवागमन से टूटा सड़क
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार रायबरेली के जगतपुर-डलमऊ मार्ग पर तालाब के पास सड़क की स्थिति अत्यंत खराब हो चुकी है। ओवरलोड वाहनों के आवागमन से सड़क टूट गई है। इससे राहगीरों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से तत्काल सड़क मरम्मत की मांग की है। राजेश, डीके जायसवाल, राकेश, अमित, राजन शुक्ला और सोनल दुबे ने इस समस्या को उठाया है। उनका कहना है कि बाइक और साइकिल चालक इस मार्ग से गुजरने में असमर्थ हैं। स्कूली बच्चों को प्रतिदिन जोखिम भरा सफर करना पड़ता है।

प्रशासन से जताई शीघ्र कार्रवाई की अपेक्षा
स्थानीय लोगों ने चेतावनी दी है कि सड़क की मरम्मत नहीं होने पर दुर्घटना की संभावना है। उन्होंने प्रशासन से शीघ्र कार्रवाई की अपेक्षा जताई है। वहीं जगतपुर विकास क्षेत्र में ही डिगही गांव की सड़क की स्थिति खराब हो गई है। सड़क की बदहाल स्थिति से ग्रामीणों को रोजाना परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। बारिश के मौसम में यह समस्या और भी गंभीर हो जाती है। सड़क पर फिसलन की वजह से लोगों का आना-जाना मुश्किल हो जाता है। स्थानीय निवासी रोहित, मोहित, संजय और अमन ने सड़क की तत्काल मरम्मत कराए जाने की मांग की है।

ग्रामीणों का बयान
ग्रामीणों का कहना है कि खराब सड़क की वजह से दैनिक गतिविधियां प्रभावित हो रही हैं। उन्होंने संबंधित अधिकारियों से जल्द से जल्द सड़क की मरम्मत कराने की अपील की है। वहीं खींरों विकासखंड में सुंदरिया खेड़ा जाने वाली सड़क की स्थिति अत्यंत खराब हो चुकी है। सड़क से उखड़ी गिट्टियां राहगीरों के लिए खतरा बन गई हैं। इस मार्ग पर चलना दुर्घटना को न्योता दे रहा है।

पैदाल चलने वालों को भी आती है कठिनाईः स्थानीय निवासी
स्थानीय निवासी शीतलदीन के अनुसार, यह सड़क पिछले 8-10 वर्षों से खराब स्थिति में है। मार्ग की दयनीय स्थिति के कारण पैदल चलने वालों को भी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। ग्रामीण मजदूरों को रोजाना इस मार्ग से गुजरना पड़ता है। स्थानीय प्रशासन की ओर से इस समस्या पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि किसी भी अधिकारी ने अब तक इस मार्ग की मरम्मत के लिए कोई पहल नहीं की है। सड़क सुरक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यातायात संकेतों की कमी दुर्घटनाओं का प्रमुख कारण है। समय पर सावधानी बरतकर कई जानें बचाई जा सकती हैं।

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