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Maharajganj News: स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया पड़ी धीमी, अब तक केवल 26 हजार मीटर ही लगाए

जनपद में उपभोक्ताओं के लिए स्मार्ट मीटर लगाए जाने की योजना की प्रक्रिया बेहद धीमी चल रही है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
Post Published By: अरुण गौतम
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Maharajganj News: स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया पड़ी धीमी, अब तक केवल 26 हजार मीटर ही लगाए

महराजगंज: उत्तर प्रदेश के महराजगंज जनपद में बिजली उपभोक्ताओं के लिए स्मार्ट मीटर लगाए जाने की महत्वाकांक्षी योजना की प्रगति बेहद धीमी है। शासन द्वारा निर्देशित इस योजना के तहत जिले के कुल 4,63,508 उपभोक्ताओं के घरों में स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं, लेकिन अब तक मात्र 26,000 मीटर ही स्थापित किए जा सके हैं। यह संख्या लक्ष्य की तुलना में अत्यंत कम है, जिससे योजना की सफलता को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं।

डाइनामाइट न्यूज़ के संवाददाता के अनुसार,  इस योजना का मुख्य उद्देश्य बिजली आपूर्ति व्यवस्था को अधिक पारदर्शी और प्रभावी बनाना है। स्मार्ट मीटर न केवल उपभोक्ताओं को वास्तविक खपत के आधार पर बिलिंग सुनिश्चित करते हैं, बल्कि बिजली चोरी रोकने में भी सहायक होते हैं।

स्मार्ट मीटर से होगा फायदा

इसके अलावा, इन मीटरों की मदद से विभाग बिजली की आपूर्ति पर सटीक निगरानी रख सकता है, जिससे आपूर्ति में आने वाली बाधाओं की तुरंत पहचान और समाधान संभव हो सकेगा।

इस कारण हो रही देरी

दरअसल, शासन के निर्देश पर इस योजना को चरणबद्ध तरीके से लागू किया जा रहा है। पहले चरण में तहसीलों, निकायों, ब्लॉक स्तर के सरकारी कार्यालयों में स्मार्ट मीटर लगाए जा रहे हैं। इन स्थानों पर कार्य की गति अपेक्षाकृत बेहतर है, लेकिन आम उपभोक्ताओं के घरों में मीटर लगाने की प्रक्रिया काफी धीमी है। इस कार्य में लगे ठेकेदारों और कार्यदायी संस्थाओं की निष्क्रियता को इसकी मुख्य वजह बताया जा रहा है।

अधिशासी अभियंता ने क्या बताया?

अधिशासी अभियंता (मीटर विभाग) हर्ष राज रस्तोगी ने बताया कि कार्य की धीमी गति पर गंभीरता से ध्यान दिया गया है। उन्होंने कहा कि कार्यदायी संस्था को स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि मीटर लगाने की प्रक्रिया में तेजी लाई जाए और निर्धारित समयसीमा में लक्ष्य की प्राप्ति सुनिश्चित की जाए।

स्थानीय लोगों ने की ये मांग

वहीं दूसरी तरफ, स्थानीय लोगों का भी कहना है कि स्मार्ट मीटर योजना अच्छी है, लेकिन इसकी गति धीमी होने से उपभोक्ता लाभ से वंचित हो रहे हैं। अगर समय पर मीटर लगाए जाएं, तो उपभोक्ताओं को न केवल सटीक बिल मिल सकेंगे, बल्कि बिजली विभाग की कार्यशैली में भी पारदर्शिता आएगी। बताया जा रहा है कि इन मीटरों की मदद से विभाग बिजली की आपूर्ति पर सटीक निगरानी रख सकता है।

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