यूपी सरकार को मानवाधिकार आयोग ने भेजा नोटिस, मोतियाबिंद के ऑपरेशन से गई 6 मरीजों की आंख की रोशनी

उत्तर प्रदेश के कानपुर में मोतियाबिंद के गलत ऑपरेशन के कारण छह मरीजों ने अपनी आंख की रोशनी गंवा दी थी। अब मानवाधिकार आयोग ने इस मामले में यूपी सरकार को नोटिस भेजा है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 26 November 2022, 2:48 PM IST

नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश के कानपुर में स्वास्थ विभाग और डॉक्टरों की बड़ी लापरवाही की कुछ लोगों को बड़ी कीमत चुकानी पड़ी। यहां मोतियाबिंद का ऑपरेशन करवाने वाले 6 मरीजों की आंख की रोशनी ही चली गई थी। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने अब इस मामले का संज्ञान लिया है। मानवाधिकार आयोग ने मोतियाबिंद के गलत ऑपरेशन से आंखों की रोशनी चली जाने के मामले में शुक्रवार को उत्तर प्रदेश सरकार को नोटिस जारी कर दिया।

आयोग ने कानपुर के एक निजी अस्पताल में मोतियाबिंद के ऑपरेशन के बाद डॉक्टरों की लापरवाही के कारण कुछ मरीजों की आंखों की रोशनी चली जाने की मीडिया में आई खबरों पर स्वत: संज्ञान लिया, जिसके बाद आयोग ने यूपी के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) को नोटिस जारी कर घटना के संबंध में एक विस्तृत रिपोर्ट मांगी है।

आयोग ने कहा कि वह यह भी जानना चाहेगा कि भविष्य में इस तरह की दर्दनाक घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, यह सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार द्वारा उठाए गए और प्रस्तावित कदम क्या हैं।

एनएचआरसी ने एक बयान में कहा कि रिपोर्ट में यह भी शामिल होना चाहिए कि क्या अस्पताल ने मुफ्त नेत्र शल्य चिकित्सा शिविर आयोजित करने से पहले जिला अधिकारियों से पूर्व अनुमति ली थी। चार सप्ताह के भीतर जवाब मिलने की उम्मीद है।

इस शिविर में आंखों की सर्जरी के बाद कितने मरीज प्रभावित हुए, इसकी जांच की जा रही है।

यह मामला सामने आने पर पीड़ितों और स्थानीय लोगों ने सीएमओ से शिकायत की थी। सीएमओ ने मामले में तुरंत जांच के आदेश देते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की बात की।

इस मामले में मोतियाबिंद के ऑपरेशन के बाद मरीजों की आंख में दर्द होना शुरू हो गया था। उसके बाद धीरे-धीरे आंख से पानी बहने लगा। फिर मरीजों को दिखना ही बंद हो गया। मरीजों का कहना है कि उनकी आंख की रोशनी ही चली गई। पीड़ित लोगों और उनके परिजनों हॉस्पिटल जाकर इसकी शिकायत की लेकिन हॉस्पिटल वालों ने केवल कुछ गोलियां देकर मरीजों को वापस भेज दिया और मामले को लेकर ज्यादा सुनवाई नहीं की।

Published : 
  • 26 November 2022, 2:48 PM IST

No related posts found.