नई दिल्ली: हमारे शरीर का सबसे नाजुक और अहम अंग आंखें होती हैं। बदलती जीवनशैली, मोबाइल और कंप्यूटर पर बढ़ता समय, प्रदूषण और तनाव — ये सभी आंखों की रोशनी को प्रभावित करते हैं। ऐसे में आंखों की सेहत का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। केवल दवाओं पर निर्भर रहने की बजाय अगर नियमित रूप से योग को जीवन में शामिल किया जाए तो इससे आंखों की रोशनी और सेहत को काफी लाभ मिल सकता है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, हर साल 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस (International Yoga Day) मनाया जाता है। इस बार 2025 में इसकी थीम है: “Yoga for One Earth, One Health”, जिसका उद्देश्य है कि योग केवल व्यक्तिगत स्वास्थ्य तक सीमित नहीं बल्कि यह वैश्विक कल्याण और समग्र स्वास्थ्य के लिए जरूरी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस थीम की घोषणा करते हुए योग के महत्व को फिर से रेखांकित किया।
आंखों को अप-डाउन और चारों दिशा में घुमाना
यह एक सरल लेकिन प्रभावी अभ्यास है। रोजाना अपनी आंखों को ऊपर-नीचे और फिर चारों दिशाओं में घुमाएं। हर दिशा में कम से कम 10 बार यह प्रक्रिया दोहराएं। यह एक्सरसाइज आंखों की मांसपेशियों को सक्रिय करती है और थकान दूर करती है। इस दौरान रीढ़ की हड्डी सीधी रखें और बिना पलक झपकाए देखने की कोशिश करें।
दाएं-बाएं रोटेशन
इस अभ्यास में आंखों को जितना हो सके, कोनों तक घुमाएं। पहले दाईं ओर देखें, फिर बाईं ओर। इस प्रक्रिया को 10 बार दोहराएं। इससे आंखों की मूवमेंट बेहतर होती है और फोकस पावर बढ़ती है। यह खासतौर पर उन लोगों के लिए फायदेमंद है जो लगातार स्क्रीन के सामने काम करते हैं।
चक्रासन
चक्रासन से न केवल शरीर में लचीलापन आता है बल्कि यह आंखों की सेहत को भी बेहतर बनाता है। इससे आंखों में होने वाली खुजली, जलन और थकान में राहत मिलती है। यह आसन रक्त संचार को बढ़ाता है, जिससे आंखों की कोशिकाओं को ऑक्सीजन और पोषण मिलता है।
त्राटक योग
त्राटक योग में एक निश्चित बिंदु या दीपक की लौ पर ध्यान केंद्रित किया जाता है। यह अभ्यास नेत्रों की एकाग्रता और रोशनी बढ़ाने में सहायक है। यह मानसिक तनाव को भी दूर करता है और आंखों की भीतरी मांसपेशियों को मज़बूत करता है। इसे शांति और एकाग्रता के साथ किया जाना चाहिए।
पल्मिंग
यह आंखों को तुरंत राहत देने वाला एक सरल योगाभ्यास है। अपनी हथेलियों को आपस में रगड़कर गर्म करें और हल्के से बंद आंखों पर रखें। यह आंखों की थकावट दूर करता है और रोशनी में सुधार लाता है। दिन में दो से तीन बार इसे दोहराना लाभकारी होता है।