Site icon Hindi Dynamite News

Fatehpur News: फतेहपुर में कबीर जयंती का उल्लास, समरसता का अनुपम संगम

उत्तर प्रदेश के फतेहपुर में खास रोनक देखने को मिली, जिसमे भक्तों को खास संदेश दिया गया। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
Post Published By: Poonam Rajput
Published:
Fatehpur News: फतेहपुर में कबीर जयंती का उल्लास, समरसता का अनुपम संगम

फतेहपुर: संत कबीर दास की जयंती के अवसर पर जिले के अम्बेडकर पार्क में श्रद्धा और भक्ति का अनूठा संगम देखने को मिला। गुरुवार को आयोजित इस कार्यक्रम में जिले के सामाजिक कार्यकर्ताओं, बुद्धिजीवियों और नागरिकों ने भाग लिया। संत कबीर के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई और उनके विचारों को जन-जन तक पहुंचाने का संकल्प लिया गया।

समानता और एकता का रास्ता दिखाया

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक, कार्यक्रम में वक्ताओं ने कबीर के जीवन और उनके द्वारा दिए गए सामाजिक संदेशों पर विस्तार से प्रकाश डाला। वक्ताओं ने कहा कि 1398 में काशी में जन्मे संत कबीर निर्गुण भक्ति के प्रबल समर्थक थे। उन्होंने मूर्तिपूजा, जातिवाद, छुआछूत और धार्मिक पाखंडों का विरोध किया और “हरि तो हर रूप में है” का संदेश देकर लोगों को समानता और एकता का रास्ता दिखाया।

हिंदू-मुस्लिम एकता को बढ़ावा दिया

संत कबीर ने हिंदू-मुस्लिम एकता को बढ़ावा दिया और यह बताया कि ईश्वर न मंदिर में है न मस्जिद में, बल्कि हर जीव के हृदय में वास करता है। उनकी साखियाँ और दोहे आज भी सामाजिक चेतना को जागृत करते हैं और प्रेम, सत्य और मानवता का संदेश देते हैं।

पचास से अधिक लोग मौजूद रहे

कार्यक्रम में बामसेफ उत्तर प्रदेश के महासचिव शत्रुघन लाल, अर्जुन लाल, चंद्रभान यादव, के.पी. कोरी, शुशील बिहारी, अतुल कुमार, रामभवन चौधरी, सुरेश चंद्र, कमल किशोर वर्मा, मुकेश कुमार, आचार्य कमलेश, रजनीश उत्तम सहित पचास से अधिक लोग मौजूद रहे।

दिन निकलते ही मां ने उठाया बेटे का शव, डाइनामाइट न्यूज़ की इस रिपोर्ट में पढ़ें रोंगटे खड़े करने वाली खबर

भाईचारे की भावना को मजबूती

सभी वक्ताओं ने यह भी कहा कि कबीर की शिक्षाएं आज के समय में और भी प्रासंगिक हो गई हैं, जब समाज जाति और धर्म के नाम पर बंटा हुआ है। ऐसे में कबीर का विचार समाज में समरसता और भाईचारे की भावना को मजबूती देता है। कार्यक्रम का समापन संत कबीर के दोहों के पाठ और “कबीर की वाणी सब पर भारी” उद्घोष के साथ हुआ।

इटावा की सड़क हुई खून से लाल: एक गलती 17 परिवार पर पड़ी भारी, जानें पूरा मामला

Exit mobile version