नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में एक बार फिर भीषण गर्मी का प्रकोप देखने को मिल रहा है। बीते रविवार को दिल्ली का अधिकतम तापमान 42.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से 2.1 डिग्री ज्यादा है। इसके साथ ही दिल्लीवासियों को 47 डिग्री सेल्सियस जैसी गर्मी का एहसास हुआ। भारतीय मौसम विभाग ने राजधानी और आसपास के इलाकों में अगले चार दिनों के लिए ‘येलो अलर्ट’ जारी किया है, जिससे साफ है कि अभी राहत की कोई उम्मीद नहीं है।
मौसम विभाग के अनुसार, अगले कुछ दिनों में अधिकतम तापमान 44 से 45 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच सकता है। साथ ही नमी का स्तर 70 प्रतिशत तक पहुंचने की आशंका है, जिससे गर्मी के साथ-साथ उमस भी परेशान करेगी। रविवार को आयानगर दिल्ली का सबसे गर्म इलाका रहा, जहां तापमान 44.1 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। यह इस सीजन का सबसे अधिक तापमान है।
एनसीआर में भी गर्मी के तेवर
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, दिल्ली के साथ-साथ एनसीआर के अन्य शहरों में भी तापमान बढ़ता जा रहा है। गुरुग्राम में अधिकतम तापमान 38.8 डिग्री, फरीदाबाद में 40 डिग्री, नोएडा में 41.4 डिग्री और गाजियाबाद में 40 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। न्यूनतम तापमान भी सभी स्थानों पर 27 डिग्री के आसपास रहा, जो इस मौसम में सामान्य माना जा रहा है।
तेजी से चढ़ा पारा, चार दिन में पांच डिग्री की बढ़ोतरी
दिल्ली के सफदरजंग मौसम केंद्र के अनुसार, पिछले चार दिनों में राजधानी के अधिकतम तापमान में करीब 5 डिग्री की वृद्धि हुई है। 5 जून को अधिकतम तापमान 37 डिग्री सेल्सियस था, जो अब 42.1 डिग्री तक पहुंच गया है। मई महीने में पश्चिमी विक्षोभ और चक्रवाती हवाओं के चलते गर्मी का असर कम रहा, लेकिन जून की शुरुआत में ही गर्मी ने रफ्तार पकड़ ली है।
क्या है हीट इंडेक्स?
रविवार को दिल्ली का हीट इंडेक्स 47.2 डिग्री सेल्सियस तक पहुंचा, जिसका अर्थ यह है कि लोगों को इतनी ही तेज गर्मी का एहसास हुआ। हीट इंडेक्स तापमान, नमी और हवा की गति के आधार पर तय किया जाता है। विशेषज्ञों का मानना है कि जब हीट इंडेक्स 45 डिग्री के पार पहुंच जाए, तो यह स्वास्थ्य के लिए खतरनाक हो सकता है।
गर्मी से बचने के उपाय
दोपहर 12 से 4 बजे के बीच धूप में निकलने से बचें।
हल्के, सूती और ढीले कपड़े पहनें।
खूब पानी पिएं और शरीर को हाइड्रेट रखें।
नींबू पानी, नारियल पानी, छाछ जैसे तरल पदार्थों का सेवन करें।
घर से बाहर निकलते समय सिर को टोपी या कपड़े से ढकें।
बुजुर्गों, बच्चों और गर्भवती महिलाओं को विशेष सावधानी बरतनी चाहिए।