Site icon Hindi Dynamite News

अमित शाह का यह कानून गिरा सकता है देश की सभी गैर भाजपा सरकार! आतिशी बोलीं- सभी CM की कुर्सी छीनने की साजिश

लोकसभा में पेश हुआ 130वां संविधान संशोधन विधेयक, जिसमें गिरफ्तारी या 30 दिन की हिरासत के बाद पीएम, सीएम और मंत्रियों को पद छोड़ना होगा। आप नेता आतिशी ने इसे लोकतंत्र पर हमला बताया और कहा कि यह बीजेपी की विपक्षी सरकारों को गिराने की चाल है। सत्येंद्र जैन के केस का उदाहरण देकर आतिशी ने इस कानून के दुरुपयोग की आशंका जताई है।
Post Published By: Mayank Tawer
Published:
अमित शाह का यह कानून गिरा सकता है देश की सभी गैर भाजपा सरकार! आतिशी बोलीं- सभी CM की कुर्सी छीनने की साजिश

New Delhi: लोकसभा में बुधवार (20 अगस्त 2025) को केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने 130वां संविधान संशोधन विधेयक पेश किया। यह विधेयक प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और मंत्रियों के खिलाफ आपराधिक मामलों में गिरफ्तारी या 30 दिन से अधिक हिरासत की स्थिति में खुद पद से हटने की बात लिखी है। विधेयक में लिखा है कि यदि किसी जनप्रतिनिधि को पांच साल या उससे अधिक सजा वाले अपराध के तहत 30 दिन या उससे अधिक समय तक हिरासत में रहना पड़ता है तो उसे अपने पद से त्यागपत्र देना अनिवार्य होगा। इस विधेयक पर विपक्ष की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई है। खासकर दिल्ली की नेता प्रतिपक्ष और पूर्व मंत्री आतिशी ने इस प्रस्ताव को लोकतंत्र पर हमला बताया है। उन्होंने बीजेपी पर विपक्षी सरकारों को कमजोर करने और सत्ता हथियाने का आरोप लगाया।

लोकतंत्र की धज्जियां उड़ाने का नया तरीका

आप नेता आतिशी ने कहा, “हमने पिछले साल देखा कि अरविंद केजरीवाल और हेमंत सोरेन जैसे मुख्यमंत्री जेल में डाले गए। केरल के सीएम पिनराई विजयन की बेटी और बंगाल में ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक बनर्जी को निशाना बनाया गया। ये सब उदाहरण हैं कि कैसे बीजेपी सत्ता के लिए लोकतंत्र की धज्जियां उड़ा रही है।” उन्होंने आरोप लगाया कि यह विधेयक सिर्फ एक राजनीतिक हथियार है जिससे विपक्षी नेताओं को झूठे मामलों में फंसाकर जेल भेजा जाएगा और फिर मुख्यमंत्री या मंत्री पद से हटाया जाएगा।

“वोट चोरी विधायक चोरी और अब मुख्यमंत्री पद की चोरी

आतिशी ने बीजेपी की रणनीति पर कटाक्ष करते हुए कहा, “बीजेपी पहले वोट चोरी करती है, फिर विधायक चोरी करती है और अब तो सीधे मुख्यमंत्री पद की चोरी पर आ गई है।” उन्होंने आगे कहा कि PMLEA (प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट) जैसे कानूनों में सबूत की जरूरत नहीं होती और जमानत मिलना लगभग असंभव होता है। इससे विपक्ष के मुख्यमंत्रियों और मंत्रियों को आसानी से गिरफ्तार कर जेल भेजा जा सकता है और फिर 30 दिन बाद पद से हटाया जा सकता है।

सत्येंद्र जैन का उदाहरण दिया

दिल्ली के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन का उदाहरण देते हुए आतिशी ने कहा, “सत्येंद्र जैन को PMLEA के तहत बिना सबूत के गिरफ्तार किया गया, और दो साल तक जेल में रखा गया। अब जाकर अदालत ने केस खारिज किया है। अगर यह नया कानून पहले से होता तो उन्हें 30 दिन बाद पद से हटा दिया जाता। चाहे कोई दोष सिद्ध हुआ हो या नहीं। ये बहुत खतरनाक रास्ता है।”

क्या है 130वां संविधान संशोधन विधेयक?

30 दिन या उससे अधिक हिरासत में रहने वाले प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और मंत्रियों को पद छोड़ना होगा। यह प्रावधान पांच साल या उससे अधिक सजा वाले अपराध में लागू होगा। विपक्षी दलों को डर है कि इस कानून के जरिए सरकारें गिराना आसान हो जाएगा। विपक्ष शंका जता रहा है कि केंद्र सरकार जांच एजेंसियों का दुरुपयोग कर विपक्षी नेताओं को झूठे केसों में फंसाकर 30 दिनों तक जेल में रखेगी और फिर उन्हें कुर्सी से हटाया जाएगा।

Exit mobile version