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Uttar Pradesh: अजीत सिंह मर्डर का शूटर गिरधारी पुलिस एनकाउंटर में ढ़ेर, विकास दुबे की तरह हो रहा था फरार

लखनऊ पुलिस ने पूर्व ब्लॉक प्रमुख और हिस्ट्रीशीटर अजीत सिंह हत्याकांड में तीन दिन की रिमांड पर चल रहे आरोपी गिरधारी को एनकाउंटर में ढ़ेर कर दिया है। डाइनामाइट न्यूज रिपोर्ट
Post Published By: डीएन ब्यूरो
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Uttar Pradesh: अजीत सिंह मर्डर का शूटर गिरधारी पुलिस एनकाउंटर में ढ़ेर, विकास दुबे की तरह हो रहा था फरार

लखनऊ: यूपी की राजधानी लखनऊ में मऊ के पूर्व ब्लॉक प्रमुख और हिस्ट्रीशीटर अजीत सिंह की सनसनीखेज तरीके से हत्या करने के मामले के मुख्य शूटर और आरोपी गिरधारी उर्फ डॉक्टर को पुलिस ने सोमवार तड़के एनकाउंटर में ढ़ेर कर दिया है। पुलिस अभिरक्षा में मारा गया गिरधारी हिस्ट्रीशीटर अजीत सिंह हत्याकांड में तीन दिन की रिमांड पर चल रहा था। कानुपर के कुख्यात विकास दुबे की तर्ज पर वह भी पुलिस से असलहा छीनकर भागने की कोशिश कर रहा था, जिसके चलते पुलिस को उस पर गोली चलानी पड़ी। 

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यह एनकाउंटर राजधानी लखनऊ के विभूति खंड थाना क्षेत्र में सोमवार सुबह हुआ। पुलिस का कहना है कि जब पुलिस टीम जब रिमांड पर चल रहे गिरधारी को गाड़ी से उतार रहे थे, तब गिरधारी ने सब इंस्पेक्टर अख्तर उस्मानी की पिस्टल छीन ली, पिस्टल छीनने के बाद वह भागने की कोशिश करने लगा।  

पुलिस के मुताबिक गिरधारी के भागने कू सूचना पर मौके पर कई थानों की पुलिस पहुंच गई। पुलिस ने उसे सरेंडर करने को कहा लेकिन खुद को पुलिस से घिरा देख गिरधारी ने पुलिस टीम पर फायरिंग शुरू कर दी, पुलिस की जवाबी कार्रवाई में गिरधारी गोली लगने के बाद घायल हो गया और बाद में उसने दम तोड़ दिया।

लखनऊ पुलिस सोमवार तड़के गिरधारी उर्फ डॉक्टर को लेकर अजीत सिंह हत्या में प्रयुक्त असलहा बरामदगी के लिए सहारा हॉस्पिटल के पीछे खरगापुर क्रॉसिंग के पास लेकर पहुंची थी। जैसे ही गाड़ी रुकी और लोग सीट से उतरे कि उप निरीक्षक अख्तर उस्मानी अपने साइड से अभियुक्त को उतार रहे थे, तभी आरोपी गिरधारी ने इंस्पेक्टर उस्मानी की नाक पर अपने सिर से हमला कर दिया और फरार होने लगा। फरार होने की कोशिश में वह पुलिस मुठभेड़ में मारा गया।

बता दें कि कुछ दिनों ही लखनऊ के विभूतिखंड के कठौता चौराहे पर मऊ के पूर्व ब्लॉक प्रमुख अजीत सिंह पर ताबड़तोड़ फायरिंग की गई थी। घायल अजीत सिंह और उसके साथी मोहर सिंह को लोहिया अस्पताल पहुंचाया गया था, जहां डॉक्टरों ने अजीत सिंह को मृत घोषित कर दिया था। इस हत्याकांड के पीछे गैंगवार वजह बताई जा रही थी। इस हमले के मुख्य आरोपी गिरधारी था और गिरधारी ने हत्याकांड के कुछ दिनों बाद नाटकीय ढंग से दिल्ली में सरेंडर कर लिया था। वह पुलिस कस्टडी में था लेकिन देर रात उसका 'विकास दुबे स्टाइल' में एनकाउंटर हो गया। 

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