चुनावी यात्रा पर डाइनामाइट न्यूज पहुंचा गुजरात, सूरत में बेरोजगारी बड़ा मुद्दा

चुनावी समर के लिये गुजरात पूरी तरह तैयार हो चुका है। भाजपा और कांग्रेस की चुनावी जंग यहां चरम पर है। “येन कैन प्रकारेण” दोनो पार्टियां जीत की जुगत में जुटी हुई है लेकिन फैसला जनता को करना है। इसी चुनावी सफर पर निकले डाइनामाइट न्यूज का आज का पड़ाव बना गुजरात का अति महत्वपूर्ण शहर और देश का डायमंड हब-सूरत। जाने इस चुनाव के रंग, सूरत की जनता के संग..

Post Published By: डीएन ब्यूरो
Updated : 7 December 2017, 7:02 PM IST

सूरत: देश के डायमंड हब कहे जाने वाले सूरत शहर की चमक चुनावों में और भी तेज हो जाती है। गुजरात में चाहे कोई नेता हो या कोई पार्टी, दोनो को राजनीतिक तौर पर चमकाने का काम करने में सूरत शहर की बड़ी भूमिका मानी जाती है। इसलिये इस शहर को पॉलिटीकल पॉलिशिंग हब का नाम भी दें तो कोई अतिशयोक्ति नहीं होगी। आर्थिक, राजनैतिक और सामाजिक रूप से संपन्न सूरत शहर की कई और विशेषतायें भी हैं। लेकिन चुनाव के कारण आजकल इस शहर के मिजाज काफी बदले हुए से लगते है। चुनाव को लेकर डाइनामाइट न्यूज ने भी कुछ शहरवासियों की नब्ज टटोलने की कोशिश की। 

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 डाइनामाइट न्यूज से बातचीत करते हुए सूरत की एक युवती राधिका ने कहा कि सूरत भले ही एक बड़ा शहर हो, लेकिन यहां के युवाओं के लिये रोजगार एक बड़ा मुद्दा है। जो भी सरकार बने, सूरत के पढ़े-लिखे लोगों के लिये रोजगार उपलब्ध कराना और बेरोजगारी खत्म करना उस सरकार की प्रथमिकता होनी चाहिये। राधिका का कहना है कि सूरत में टेक्सटाइल इत्यादि तो हैं लेकिन एमएनसी नहीं है। हम चाहते है कि यहां एमएनसी आये और रोजगार के बड़े साधन विकसित हों। 

22 साल के बाद राज्य में सत्ता परिवर्तन की संभावनाओं पर पूछे गये सवाल के जबाव में राधिका का कहना है कि 22 सालों से राज्य में जो भी सरकार रही है, उसने अच्छे ही काम किये है। लेकिन उन कामों में अब और अधिक तेजी और बेहतरी आनी चाहिये। राधिका का मानना है कि किसी भी राजनेता का जनता पर बड़ा प्रभाव पड़ता है, इसलिये उन्हें जनता के हित में ज्यादा फैसले लेने चाहिये और समानता को आधार बनाकर काम करना चाहिये।

Published : 
  • 7 December 2017, 7:02 PM IST

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