नई दिल्ली: एक महिला सांसद ने मंगलवार को संसद भवन में सबके सामने अपनी अश्लील फोटो दिखाई। जिसमें दिख रहा था कि महिला सांसद नग्न अवस्था है। इस तस्वीर को देखकर सभी हैरान हो गए।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, संसद में महिला सांसद ने बताया कि आज की डिजिटल दुनिया में किसी की भी नकली और अश्लील तस्वीर बनाना कितना आसान के साथ खतरनाक हो चुका है। उन्होंने भरी सभा में कहा कि सरकार को तत्काल डीपफेक टेक्नोलॉजी और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के गलत इस्तेमाल को रोकना चाहिए।
“यह मेरी न्यूड तस्वीर है, लेकिन यह असली नहीं है”
यह मामला न्यूजीलैंड का है। सांसद लॉरा मैक्लर ने संसद में अपनी बनाई गई डीपफेक फोटो को दिखाते हुए कहा, “यह मेरी न्यूड तस्वीर है, लेकिन यह असली नहीं है। मुझे इसे बनाने में 5 मिनट से भी कम समय लगा। मैंने बस गूगल पर जाकर एक वेबसाइट सर्च की और वहां से यह तस्वीर बनाई।”
90 प्रतिशत में महिलाओं को टारगेट किया जाता है
लॉरा मैक्लर ने कहा कि ऑनलाइन पाए जाने वाले डीपफेक वीडियो में 90 से 95 प्रतिशत तक कंटेंट ऐसा होता है जो बिना सहमति के बनाया गया होता है। इनमें से लगभग 90 प्रतिशत में महिलाओं को टारगेट किया जाता है। यह किसी भी महिला का जीवन को बर्बाद करने के लिए डिजिटल हमला है।
सैकड़ों लोग हर हफ्ते हो रहे ब्लैकमेल
महिला सांसद ने आवाज उठाते हुए कहा है कि सरकार को ऐसे कानून को लाना चाहिए। जिससे आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का गलत इस्तेमाल नहीं हो। इससे हर हफ्ते सैकड़ों लोग बर्बाद हो रहे है। तेजी के साथ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के माध्यम से गलत फोटो बनाकर उस व्यक्ति को ब्लैकमेल किया जा रहा है।
भारत में डीपफेक के खिलाफ नए नियम
भारत में डीपफेक कंटेंट पर नियंत्रण को लेकर सरकार ने नए नियम लागू किए हैं। इन नियमों के तहत अगर किसी को डीपफेक सामग्री का शिकार होना पड़ा तो वह तुरंत FIR दर्ज करवा सकता है। इसके अलावा विक्टिम या उसकी ओर से नियुक्त किया गया व्यक्ति भी केस दर्ज करवा सकेगा।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स की जिम्मेदारी
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स अब अपने यूजर्स से यह शपथ लेंगे कि वे डीपफेक कंटेंट नहीं डालेंगे। इसके अतिरिक्त प्लेटफॉर्म्स अपने यूजर्स को इस संबंध में अलर्ट मैसेज भी भेजेंगे। जिससे वे इस तरह के कंटेंट से बच सकें और इसके खतरों के बारे में जागरूक हो सकें।
कंटेंट हटाने की समय सीमा
यदि किसी प्लेटफॉर्म पर डीपफेक कंटेंट पाया जाता है तो उसे 24 घंटे के भीतर हटाना होगा। इसके साथ ही जिस यूजर ने यह कंटेंट अपलोड किया है। उसका अकाउंट भी बंद कर दिया जाएगा। इसके बाद इस बारे में दूसरे प्लेटफॉर्म्स को भी सूचना दी जाएगी। जिससे आरोपी व्यक्ति वहां नया अकाउंट न बना सके।