साध्वी प्रज्ञा के बयान में लोकसभा में भारी गतिरोध, बिना शर्त माफी पर अड़ा विपक्ष
भारतीय जनता पार्टी की साध्वी प्रज्ञा ने पूर्व में सदन में की गयी एक टिप्पणी पर लोकसभा में शुक्रवार को खेद जताते हुये एक बयान दिया जिसे लेकर सदन में भारी हंगामा हो गया और पूरा विपक्ष बिना शर्त माफी की माँग पर अड़ गया।
नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी की साध्वी प्रज्ञा ने पूर्व में सदन में की गयी एक टिप्पणी पर लोकसभा में शुक्रवार को खेद जताते हुये एक बयान दिया जिसे लेकर सदन में भारी हंगामा हो गया और पूरा विपक्ष बिना शर्त माफी की मांग पर अड़ गया।
सत्ता पक्ष के सदस्यों और विपक्ष के बीच लगभग 50 मिनट तक नोक-झोंक जारी रही और इसके बाद अध्यक्ष ओम बिरला ने सदन की कार्यवाही भोजनावकाश के लिए स्थगित करते हुये इस दौरान इसी मुद्दे पर सर्वदलीय बैठक बुलाने की घोषणा की।
#WATCH "I apologise If I have hurt any sentiments. My statements being distorted, taken out of context. A member of the House referred to me as 'terrorist' without proof. It is an attack on my dignity," BJP MP Pragya Singh Thakur in Lok Sabha pic.twitter.com/2cYY87uoid
— ANI (@ANI) November 29, 2019
प्रश्नकाल के बाद दाेपहर 12 बजे जरूरी कागजात सदन के पटल पर रखे जाने के बाद कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने सदन में यह मामला उठाते हुये कहा कि एक सदस्य ने महात्मा गांधी के हत्यारे का पूजन करने वाली टिप्पणी की थी। इसके बाद साध्वी प्रज्ञा ने नियम 222 के तहत बोलने की अनुमति माँगी।
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उन्होंने कहा “बीते घटनाक्रम में ...यदि मेरी किसी टिप्पणी से किसी को ठेस पहुंची हो तो मैं इस पर खेद प्रकट करती हूं और क्षमा मांगती हूं। संसद में पेश मेरे बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया। मेरा संदर्भ कुछ और था। जिस तरह मेरे बयान को तोड़ा-मरोड़ा गया वह निंदनीय है।”
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इसके बाद उन्होंने आरोप लगाया कि इसी सदन के सदस्य द्वारा उन्हें आतंकवादी कहा गया जबकि अदालत में उनके खिलाफ कोई आरोप सिद्ध नहीं हुआ है। अदालत के फैसले से पहले उन्हें आतंकवादी कहना गलत है। एक सांसद और एक महिला पर इस तरह के आरोप लगाना गलत है।
उनके इतना कहते ही सदन में भारी हंगामा शुरू हो गये। कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, बहुजन समाज पार्टी, वामदलों, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, बीजू जनता दल तथा अन्य कई विपक्षी दलों के सदस्य अपने स्थान पर खड़े हो गये। वे सदन के बीचों-बीच आकर नारेबाजी करने लगे। सत्ता पक्ष के भी ज्यादातर सदस्य खड़े होकर उनका प्रतिरोध करने लगे। अगले 50 मिनट तक सदन में गतिरोध बना रहा।
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हालांकि बीच-बीच में दोनों तरफ से कई सदस्यों ने अपनी राय रखी और स्वयं अध्यक्ष ने भी कहा कि महात्मा गांधी के विचार और आदर्श का पूरा देश सम्मान करता है।
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संसदीय कार्यमंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि साध्वी प्रज्ञा ने माफी मांग ली है। लेकिन, विपक्षी सदस्य बिना शर्त और स्पष्ट शब्दों में माफी की मांग पर अड़े रहे। समाजवादी पार्टी के नेता मुलायम सिंह यादव, बीजू जनता दल के भर्तृहरि महताब और तृणमूल कांग्रेस के सुदीप बंदोपाध्याय जैसे वरिष्ठ नेताओं की राय लेने के बाद दोपहर बाद करीब 1.10 बजे अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही दोपहर बाद 2.30 बजे तक के लिए स्थगित कर दी तथा सभी दलों के नेताओं से दोपहर बाद 1.15 बजे उनके कक्ष में इसी मुद्दे पर बैठक के लिए आने को कहा। (वार्ता)