DN EXclusive: खेतों में खड़ी है गन्ने की फ़सल, नही मिल रही पर्ची, किसानों के माथे पर खींच गई चिंता की लकीरें

डीएन ब्यूरो

निचलौल ब्लाक के तकरीबन डेढ़ दर्जन गांव के खेत में गन्ने की फसल खड़ी है लेकिन किसानों को पर्ची नही मिल रही है। जिम्मेदार भी इसकी सुध नही ले रहे हैं। जिससे किसानों की नींद हराम हो गई है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ पर पूरी खबर

खेतों में खड़ी गन्ने की फ़सल
खेतों में खड़ी गन्ने की फ़सल


महराजगंजः भले ही सरकार ने गन्ना किसानों को 370 रूपये कुंतल गन्ना मूल्य दिलाने का दावा किया है, लेकिन हकीकत में निचलौल ब्लाक के दो दर्जन से अधिक गांवों के खेत में गन्ने की फसल जस की तस खड़ी है। कोई पूछने वाला नही है और न ही जांचने वाला। खेतों में खड़ी गन्ने की फसल को लेकर किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें खींच गई है। जिम्मेदार भी उनकी सुध नही ले रहे है।

बढ़या मुस्तकील गांव में तौल का बना है सेंटर
पिपराइच मिल ने गन्ना तौल करने के लिए बढ़या मुस्तकीम में सेंटर बनाया है। इस सेंटर में गन्ना तौल करने के लिए 15 दिन से एक भी पर्ची जारी नहीं किया गया। एक पर्ची पर मात्र 45 कुंतल गन्ना ही तौल होता है।

क्रशर पर गन्ना बेचने की तैयारी
किसान रामअसारे मौर्य ने डाइनामाइट न्यूज़ को बताया कि गन्ना की पर्ची न मिलने से तौल नही हो रहा है। खेत में गन्ना खड़ा है। खेत खाली न होने से इस बार गेहूं की बुआई नहीं हो पाई है। ऐसी दशा में अब 350 रूपये गन्ना को मात्र 250 रूपया कुंतल क्रशर पर बेचने की तैयारी है। इससे गन्ना की खेती में किसानों को काफी घाटा उठाना पड़ रहा है।

जिला गन्ना अधिकारी नही उठाते फोन
गन्ना किसान अयोध्या, सुनीता, नंनलाल आदि ने डाइनामाइट न्यूज़ को बताया कि पर्ची न आने के संबंध में पूछने पर जिला गन्ना अधिकारी किसानों का फोन नही उठाते हैं। पर्ची कब आएगी यह भी बताने के लिए कोई अधिकारी तैयार नही है। आखिर इस समस्या से निजात पाने के लिए किसान किस अधिकारी से फरियाद करें।

15 दिनों से नही आई एक भी पर्ची
गन्ना किसान रामआसरे मौर्य, बशिष्ठ, वीरेन्द्र, सुरेन्द्र, मुबारक, मजीद, पूर्णमासी, नवीउल्लाह, मुमताज, प्रमोद, रामाश्रय मौर्य, रामाकांत, रामरती, मुखलाल, दीनानाथ, सोमारी सहित तकरीब सैकड़ों किसानों ने जिला मुख्यालय पहुंचकर जिला गन्ना अधिकारी से फरियाद की। अपने दर्द का पुलिन्दा भी सौंपा। 15 दिनों से सेंटर पर गन्ना गिराने के लिए पर्ची नहीं आई। समय तेजी से निकल रहा है। फरवरी माह आने वाला है। न तो गन्ना की छिलाई हो पाएगी और न ही गन्ना काटने के लिए मजदूर ही मिलेंगे। खेतों में लहलहाती गन्ने की फसल बर्बाद हो जाएगी। बावजूद जिला गन्ना अधिकारी ने माकूल जवाब नही दिया। रटा-रटाया एक ही शब्द में किसानों के अरमानों पर पानी फेर दिया है।

गन्ना के खेत में नहीं हुई गेहूं की बुआई
किसान समसुद्वीन, असगर, गोरखनाथ, बबलू, विन्दू, प्रमोद समेत तमाम किसानों ने डाइनामाइट न्यूज़ को बताया कि पर्ची न मिलने से गन्ना का खेत खाली नही होगा। गेहूं की बुआई न होने से न तो खाने के लिए घर में एक दाना है और न ही कही से मिलने की कोई उम्मीद नजर आ रही है। जबकि हर साल समय से गन्ना गिर जाता था। उस खेत में गेहूं की बुआई होने से साल भर खाने के लिए भरपूर अनाज का उत्पादन भी हो जाता था। लेकिन इस बार जिम्मेदारों की नजर टेढ़ी होने से एक-एक दाने के लिए किसान मोहताज हो जाएंगे।

खेतों में जस तस पड़ी है गन्ना की फसल
निचलौल ब्लाक के बढ़या, डोमा, अहिरौली, बजहा, बजही, बैठवलिया, शितलापुर, बहुआर, झुलनीपुर, भेड़िहारी, मिश्रौलिया समेत तकरीबन तीन दर्जन गांव के खेत में गन्ने की 98014, 0238, 0118 प्रजाति के गन्ना की फसल जस की तस पड़ी है, लेकिन इसका पूछनहार कोई नही है।










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