सिसवा बाजार: गांवों में सुलभ शौचालयों का अभाव फिर कैसा ये विकास ...
एक तरफ सरकार खुले में शौच पर रोक लगाने के लिए अभियान चला रही है वहीं दूसरी तरफ सिसवा बाजार में दो दर्जन शौचालय धनाभाव के कारण संचालित नहीं हैं। पढ़ें डाइनामाइट न्यूज़ पर पूरी खबर...
सिसवा बाजार: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के महत्वकांक्षी योजना खुले में शौच मुक्त भारत बनाने की योजना सिर्फ कागजों में दर्ज होकर रह गई है। गांवो में शौचालय का निर्माण हुआ भी है तो वह संचालित नही हुआ है। फिर भी उन गांवों को ओडीएफ घोषित कर दिया गया है।
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सिसवा विकास खण्ड के ग्राम सभा बीजापार कस्बा इसका एक बड़ा उदाहरण हैं। जहां पर 970 शौचालय लक्ष्य के सापेक्ष ग्राम पंचायत अधिकारी के अनुसार लगभग पांच सौ शौचालय का निर्माण किया गया है।असमन्छपरा, नोनियाटोला में एक ही बागीचे में दो दर्जन शौचालय का निर्माण कराया गया है। जिसका सिर्फ ढांचा ही तैयार किया गया है पर संचालन नही किया गया हैं। सबसे महत्वपूर्ण सवाल तो यह हैं की उस गांव को ओडीएफ भी घोषित कर दिया गया है। जबकि उस बगीचे तक जाने वाली नहर की पटरी वाली सड़क गंदगी से भरी पड़ी रहती हैं। इस संदर्भ में ग्राम विकास अधिकारी विकास सिंह ने कहा कि शौचालय का निर्माण कार्य प्रगति है पर धनाभाव के कारण निर्माण की गति थोड़ी धीमी थी।
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