आदिवासी लड़की की मौत पर 6 माह बाद बड़ा खुलासा, बंधुआ मजदूर बनकर कर रही थी काम, जानिए पूरा मामला

डीएन ब्यूरो

महाराष्ट्र के जनजातीय विकास मंत्री विजय कुमार गावित ने शुक्रवार को विधान परिषद में कहा कि सितंबर, 2022 में जिस आदिवासी लड़की की मौत हुई थी वह एक बंधुआ मजदूर के तौर पर काम करती थी। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

फाइल फोटो
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मुंबई: महाराष्ट्र के जनजातीय विकास मंत्री विजय कुमार गावित ने शुक्रवार को विधान परिषद में कहा कि सितंबर, 2022 में जिस आदिवासी लड़की की मौत हुई थी वह एक बंधुआ मजदूर के तौर पर काम करती थी।

इस पर विपक्षी सदस्यों ने उनकी तीखी आलोचना की। प्रदेश में बंधुआ मजदूरी प्रतिबंधित है।

नासिक में करीब छह महीने पहले दस साल की एक आदिवासी लड़की की मौत होने की घटना के बारे में मंत्री से पूछा गया था।

इस बच्ची को अहमदनगर जिले में काम के लिए ले जाया गया था, लेकिन जब वह बहुत बीमार हो गई तो उसके नियोक्ता ने उसे उसके मां-बाप के घर के बाहर छोड़ दिया था। लड़की के शरीर पर चोट के निशान थे। बाद में उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई थी।

एकनाथ खडसे, शशिकांत शिंदे और कई अन्य विपक्षी सदस्यों ने मंत्री पर दबाव बनाया कि वह इस मामले पर जवाब दें और यह बताएं कि क्या लड़की को बेचा गया था।

गावित ने कहा, ‘‘लड़की को बेचा नहीं गया था। वह एक बंधुआ मजदूर थी। वह अहमदनगर में एक परिवार के यहां काम करती थी।’’










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