Prayagraj Maha Kumbh 2025: क्या मौनी अमावस्या का ये महत्व जानते हैं आप?
महाकंभ में मौनी अमावस्या के खास पर्व पर श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ने की संभावना है। इसके लिये खास व्यवस्थाएं की गईं हैं। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

प्रयागराज: महाकुंभ में मौनी अमावस्या के दिन भक्तों की भारी भीड़ को देखते हुए सुरक्षा का खास इतंजाम किया गया है। ऐसे में सुरक्षा के लिए जीआरपी सिविल पुलिस पीएसी, आरपीएसएफ और सीआरपीएफ की टुकड़ियां तैनात की जाएंगी।
रेलवे का अनुमान है कि पांच लाख से अधिक श्रद्धालुओं की आवाजाही रहेगी। ऐसे में श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की दिक्कतों का सामना न करना पड़े जिसके लिए 60 अतिरिक्त ट्रेनें चलाने की रणनीति पर काम शुरू कर दिया गया है।
इतना ही नहीं रेलवे द्वारा सभी प्लेटफार्म पर AI कैमरा का उपयोग किया जा रहा है, जिससे भीड़ को नियंत्रित करने में आसानी होगी।
बता दें कि महाकुंभ में मौनी अमावस्या का स्नान 29 जनवरी को होगा, इसलिए भक्तों के आवाजाही का सिलसिला 27 जनवरी से तीन फरवरी तक रहेगा। गौरतलब है कि, पौष पूर्णिमा और मकर संक्राति पर संचालित 154 ट्रेनें चलाई गई थी जिसमें 60 और ट्रेनों की बढ़ोतरी होगी।
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जानें, मौनी अमावस्या क्यों होता है खास
ऐसी मान्यता है कि, मौनी अमावस्या के दिन पितरों के पिंडदान और तर्पण से उन्हें बैकुंठ धाम की प्रप्ति होती है। यही कारण है कि मौनी अमाव,स्या के दिन स्नान- दान के साथ साधु संत और अन्य लोग मौन व्रत भी रखते हैं। मान्यता है कि मौनी अमावस्या के दिन व्रत रखने से मोक्ष की प्राप्ति होती है।
मौनी अमावस्या के दिन करें ये काम, होंगे रई लाभ
मौनी अमावस्या के दिन पवित्र नदियों में स्नान करना शुभ माना जाता है। मान्यता है कि मौनी अमावस्या के दिन भगवान विष्णु, माता लक्ष्मी और मां गंगा की पूजा-अर्चना करने से लाभ प्राप्त होता है।
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मौनी अमावस्या के दिन मौन व्रत करने से मन को शांति मिलती है।
ऐसा माना जाता है कि, मौनी अमावस्या के दिन शाम को तुलसी के पास घी का दीपक जलाने से घर की दलिद्रता दूर होती है।