माघ माह में पड़ने वाली अमावस्या को मौनी अमावस्या या माघ अमावस्या कहा जाता है। हिंदू धर्म में इसका एक अलग ही महत्व होता है। जानें किस दिन है मौनी अमावस्या और इसका महत्व
माघ मास
हिन्दी पंचांग के अनुसार, माघ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को माघी अमावस्या या मौनी अमावस्या कहलाती है।
11 फरवरी दिन गुरुवार को
इस साल मौनी अमावस्या या माघी अमावस्या 11 फरवरी दिन गुरुवार को है।
पवित्र नदियों में स्नान करते हैं
इस दिन लोग गंगा या अन्य पवित्र नदियों में स्नान करते हैं।
मौन व्रत रखने की भी परंपरा
मौनी अमावस्या के दिन मौन व्रत रखने की भी परंपरा है। ऐसा माना जाता है कि मौन व्रत रखने से व्यक्ति का आत्मबल दृढ़ होता है।
अमावस्या तिथि
माघ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि का प्रारंभ 10 फरवरी को देर रात 01 बजकर 08 मिनट पर हो रहा है, जो 11 फरवरी को देर रात 12 बजकर 35 मिनट तक है।
पितरों को याद करना चाहिए
हर अमावस्या की तरह माघ अमावस्या पर भी पितरों को याद करना चाहिए। इस दिन पितरों का तर्पण करने से उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होती है।
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