Business: ऑनलाइन शॉपिंग से होता है छोटे व्यपारियों को नुकसान, जानिए कैसे पड़ता है असर
धीरे-धीरे कर सारी दुनिया ऑनलाइन खरीदारी की तरफ रुख कर रही है जिससे छोटे व्यापारी को बहुत नुकसान सहना पड़ रहा हैं। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की स्पेशल रिपोर्ट
नई दिल्ली: आज कल की डिजिटल दुनिया में लोग एक तरफ जहां धीरे-धीरे ऑनलाइन खरीदारी की तरफ रुख कर रहे है, वहीं इसका सीधा असर छोटे व्यापारी पर पड़ रहा, इतना ही नहीं उन्हें इससे बहुत नुकसान हो रहा है।
ऑनलाइन शिफ्ट हुई दुनिया
आज के समय मे ऑनलाइन ख़रीददारी जरूरत से अधिक हो गयी है। आज लोगों के पास इतना ज्यादा समय नहीं होता है कि वे सारा दिन शॉपिंग के लिए निकालें। इसी कारण ज्यादातर लोग ऑनलाइन शॉपिंग करना ही पसन्द कर रहे हैं। त्योहारी सीजन की शुरुआत के साथ ही ऑनलाइन कंपनियां नये लोगों की भर्ती कर मांग पूरी करने की कोशिश कर रही हैं।
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रोजमर्रा की जरूरत हो या फिर लंच, डिनर आजकल का युवा आनलाइन शॉपिंग पर निर्भर हो रहे है। ऑनलाइन आर्डर प्रतिदिन किये जा रहे हैं। इनमें मोबाइल, कपड़े, मशीनें, चश्मे से लेकर रोजमर्रा के इस्तेमाल होने वाली दाल-सब्जी जैसी चीजें भी शामिल हैं। बढ़ते ऑनलाइन कारोबार से भारत के खुदरा व्यापारी के सामने संकट खड़ा हो गया है।
ऑनलाइन शॉपिंग से हो रहा छोटे व्यापारियों को नुकसान
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खुदरा व्यापारी दुकानों में अभी भी ग्राहकों का इंतजार कर रहा है। ऑनलाइन बाजार से जहां ग्राहकों को फायदा पहुंच रहा है वहीं छोटे व मध्यम व्यापारी वर्ग को काफी नुकसान भी हो रहा है.इसका सबसे ज्यादा असर छोटे व मध्यम व्यवसायियों पर पडऩे से वे काफी त्रस्त हैं.तेजी से बढ़ रहे ऑनलाइन बाजार से करोड़ों रोजी-रोटी को खतरा हो गया है। लोगों की दुकानें बंद होने के कगार पर हैं।
जैसे-जैसे लोग इंटरनेट के जाल में फंसते जा रहे हैं और ऑनलाइन कारोबार बढ़ता जा रहा है। वहीं खुदरा व्यापार दम तोड़ता जा रहा है और आने वाले समय में लाखों खुदरा व्यापारी बेरोजगार हो जाएंगे। भारत में बढ़ते हुए ऑनलाइन व्यापार एवं विदेशी थोक के बढ़ते हुए कदमों से भारत का खुदरा व्यापारी एवं छोटे दुकानदार स्तब्ध स्थिति में है और यह नहीं समझ पा रहा है कि उनका क्या होगा। आश्रित 44 करोड़ से भी ज्यादा लोगों का जिनकी आजीविका खुदरा एवं लघु व्यापारियों से चलती है, का भविष्य क्या होने वाला है की चिंता लगी हुए है। दुकानो पर बहुत काम ग्राहक बेखने को मिल रहे है।
इसलिए ग्राहको को ऑनलाइन कम करके दुकान पर जा कर खरीदारी करनी चाहिए जिसे गरीबो का नुकसान न हो और सब मिल जुल कर त्योहारो का आनंद ला सके।