डिजिटल सार्वजनिक ढांचे पर भारत के साथ सहयोग की संभावना तलाश रहा है सिंगापुर
सिंगापुर आधार जैसी राष्ट्रीय पहचान प्रणाली की तर्ज पर डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचा क्षेत्र में भारत के साथ सहयोग पर विचार कर रहा है। सिंगापुर के केंद्रीय बैंक के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
कोलकाता: सिंगापुर आधार जैसी राष्ट्रीय पहचान प्रणाली की तर्ज पर डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचा क्षेत्र में भारत के साथ सहयोग पर विचार कर रहा है। सिंगापुर के केंद्रीय बैंक के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
सिंगापुर मौद्रिक प्राधिकरण (एमएएस) के मुख्य वित्तीय प्रौद्योगिकी अधिकारी सुपनेंदु मोहंती ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘एक और संभावित अवसर सिंगापुर के ‘प्रॉक्सटेरा’ (एमएसएमई पारिस्थितिकी तंत्र का वैश्विक डिजिटल केंद्र) के भारत के ओपन नेटवर्क फॉर डिजिटल कॉमर्स (ओएनडीसी) के साथ एकीकरण का हो सकता है।’’
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उन्होंने कहा कि भारत उन्नत डिजिटल सार्वजनिक अवसंरचना (डीपीआई) में एक प्रौद्योगिकी महाशक्ति है। ऐसे में यह हमारे के लिए सहयोग की दृष्टि से एक आदर्श भागीदार हो सकता है। हम भारत में आधार के समान अपने राष्ट्रीय पहचान बुनियादी ढांचे के संबंध में सहयोग के इच्छुक हैं।
मोहंती ने कहा, ‘‘प्रॉक्सटेरा को भारत के ओएनडीसी से जोड़ना एक और संभावना हो सकती है, जिससे दोनों देशों के छोटे व्यवसायों के लिए सीमापार अवसर बनेंगे और उन्हें वित्तीय रूप से अधिक सशक्त किया जा सकेगा।’’
वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने पूर्व में कहा था कि ओएनडीसी, यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) की तरह भारत और विदेशों में ई-कॉमर्स क्षेत्र को बदल सकता है। मोहंती हाल में कोलकाता में आयोजित जी20 की वित्तीय समावेशन के लिए वैश्विक भागीदारी बैठक में प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा थे।