श्रीलंका में क्रिकेट के बाद फिल्में हैं मनोरंजन का साधन: मुथैया मुरलीधरन

डीएन ब्यूरो

श्रीलंका के दिग्गज क्रिकेटर मुथैया मुरलीधरन का कहना है कि उनके देश में हिंदी और तमिल फिल्मों के काफी प्रशंसक हैं और क्रिकेट के बाद लोग सिनेमा के ही दीवाने हैं। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर

श्रीलंका के दिग्गज क्रिकेटर मुथैया मुरलीधरन
श्रीलंका के दिग्गज क्रिकेटर मुथैया मुरलीधरन


नयी दिल्ली: श्रीलंका के दिग्गज क्रिकेटर मुथैया मुरलीधरन का कहना है कि उनके देश में हिंदी और तमिल फिल्मों के काफी प्रशंसक हैं और क्रिकेट के बाद लोग सिनेमा के ही दीवाने हैं।

महान स्पिनर मुरलीधरन ने कहा कि उन्होंने हाल ही में तमिल फिल्म ‘जेलर’ और ‘लियो’ तथा हिंदी फिल्म ‘जवान’ और ‘टाइगर 3’ देखी हैं।।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार मुरलीधरन ने कहा, 'श्रीलंका में हिंदी फिल्में लोकप्रिय हैं क्योंकि श्रीलंका में बहुत कम फिल्में बनती हैं। उनके (श्रीलंकाई फिल्म) पास बहुत अधिक बजट नहीं है लेकिन फिर भी वे सिनेमाघरों में चलती हैं क्योंकि लोग अपनी भाषा में फिल्में देखना चाहते हैं।'

उन्होंने कहा, ‘‘श्रीलंका में हिंदी और तमिल दोनों फिल्में लोकप्रिय हैं। श्रीलंका में क्रिकेट मनोरंजन का एक हिस्सा है, फिल्में उसका अगला हिस्सा हैं। श्रीलंका में ज्यादातर लोग सिंहली हैं, लेकिन वे हिंदी फिल्में खूब देखते हैं।’’

मुरलीधरन (51) ने कहा, 'श्रीलंका के युवा हिंदी भी बोल सकते हैं क्योंकि उन्होंने हिंदी फिल्में देखी हैं। ज्यादातर हिंदी फिल्में ही हैं, हॉलीवुड फिल्में बहुत कम हैं।'

उन्होंने कहा कि उन्होंने अपना ज्यादातर समय छात्रावास में बिताया था, इसलिए उन्हें शायद ही टेलीविजन देखने का मौका मिलता था। उन्होंने कहा, ‘‘उन दिनों, हमें सिनेमा हॉल जाना पड़ता था। पहले, फिल्में रिलीज होने के महीनों बाद श्रीलंका आती थीं। पिछले 10 साल में ही ऐसा हुआ है कि जब श्रीलंका में भी फिल्में (लगभग एक साथ) रिलीज हुई हैं।’’

मुरलीधरन के जीवन पर केंद्रित फिल्म ‘800’ अभी जियोसिनेमा पर दिखायी जा रही है। यह संख्या टेस्ट क्रिकेट में उनके विकेट की रिकॉर्ड संख्या पर आधारित है। एमएस श्रीपति ने इस फिल्म को लिखा और निर्देशित किया है।

श्रीलंका में अक्टूबर में सिनेमाघरों में इस फिल्म को प्रदर्शित किए जाने के संबंध में मुरलीधरन ने कहा कि फिल्म ने घरेलू स्तर पर अच्छा प्रदर्शन किया है। उन्होंने कहा कि यह श्रीलंका के सिनेमाघरों में एक महीने से अधिक समय तक चली जबकि भारत में कोई फिल्म केवल 14 दिन या उसके आसपास ही चलती है।

उन्होंने कहा कि कुछ फिल्में एक सप्ताह ही चलती हैं क्योंकि बहुत सारी फिल्में रिलीज होती हैं और उसे हटा कर नयी फिल्में लगा देते हैं। बहुत से लोग तब तक फिल्म नहीं देखते जब तक कि उसमें कोई बड़ा अभिनेता न हो या वह बहुत बड़ी हिट न हो लेकिन यह फिल्म श्रीलंका में एक महीने से अधिक समय तक चली।

मुरलीधरन ने कहा, 'देश भर (श्रीलंका) में लगभग 58 सिनेमाघर हैं। वहां के दो करोड़ निवासियों के लिए यह बहुत कम है। लोग वहां सप्ताहांत में फिल्म देखने जाते हैं, रात का शो या सप्ताह के अन्य दिनों में नहीं।’’

मुरलीधरन तमिल समुदाय से आते हैं, जो श्रीलंका में अल्पसंख्यक है। वह देश के उत्तरी क्षेत्र में गृह युद्ध के बीच बड़े हुए हैं। उन्होंने 2005 में चेन्नई की मूल निवासी मधिमलार राममूर्ति से शादी की।

श्रीपति ने कहा कि उन्होंने फिल्म ‘800’ बनाने का फैसला इसलिए किया क्योंकि मुरलीधरन से जुड़ी दिलचस्प जानकारी के बारे में दुनिया को बहुत पता नहीं था।










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