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अगर हॉस्पिटल में कोई चिल्लाए ‘कोड ब्लैक’, तो क्या करना चाहिए? जानिए इसका खौफनाक मतलब

अस्पताल... एक ऐसी जगह जहां हर रोज़ हजारों मरीज इलाज के लिए आते हैं। लेकिन क्या आपने कभी ध्यान दिया है कि जब वहां कोई इमरजेंसी होती है, तो स्टाफ एक-दूसरे को चुपचाप इशारों में कैसे जानकारी देता है? इसका जवाब है  कोड वर्ड्स।
Post Published By: Poonam Rajput
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अगर हॉस्पिटल में कोई चिल्लाए ‘कोड ब्लैक’, तो क्या करना चाहिए? जानिए इसका खौफनाक मतलब

New Delhi: अस्पताल… एक ऐसी जगह जहां हर रोज़ हजारों मरीज इलाज के लिए आते हैं। लेकिन क्या आपने कभी ध्यान दिया है कि जब वहां कोई इमरजेंसी होती है, तो स्टाफ एक-दूसरे को चुपचाप इशारों में कैसे जानकारी देता है? इसका जवाब है  कोड वर्ड्स।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक,  हॉस्पिटल्स में पैनिक से बचने और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए कुछ खास कोड शब्दों का उपयोग किया जाता है। ये शब्द आम मरीजों और तीमारदारों को सामान्य लगते हैं, लेकिन स्टाफ के लिए ये एक गुप्त संदेश की तरह होते हैं – और इन्हीं में सबसे खतरनाक होता है “कोड ब्लैक”।

क्या होता है “कोड ब्लैक”?

जब भी किसी हॉस्पिटल में कोई कर्मचारी या डॉक्टर “कोड ब्लैक” चिल्लाता है, तो समझ जाइए कि यह सिर्फ शब्द नहीं, एक गंभीर सुरक्षा अलर्ट है। इसका मतलब हो सकता है:

अस्पताल में बम की धमकी

कोई व्यक्ति खुद को या दूसरों को नुकसान पहुंचाने की धमकी दे रहा हो

किसी मरीज या तीमारदार का हिंसक हो जाना

ऐसी स्थिति जहां तत्काल अस्पताल को खाली कराना पड़े या पुलिस बुलानी हो

क्यों जरूरी होता है कोड का इस्तेमाल?

कल्पना कीजिए कि अगर अस्पताल के किसी कोने में कोई बम की धमकी दे, और यह बात माइक से सीधी बोल दी जाए  “यहां बम है!” तो क्या होगा? पूरे अस्पताल में अफरा-तफरी मच जाएगी। ICU में पड़े गंभीर मरीजों की जान खतरे में आ सकती है। इसलिए, “कोड ब्लैक” जैसे शब्दों का इस्तेमाल एक नियंत्रित और पेशेवर प्रतिक्रिया को संभव बनाता है।

कोड ब्लैक के दौरान क्या होता है?

स्टाफ अलर्ट मोड में चला जाता है। सुरक्षा टीम एक्टिवेट होती है। पुलिस या बम डिस्पोजल स्क्वाड को सूचित किया जाता है। मरीजों और तीमारदारों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाता है। कुछ मामलों में पूरा हॉस्पिटल खाली भी कराया जा सकता है।

अन्य कोड्स भी होते हैं:

कोड रेड: आग लगने की स्थिति

कोड ब्लू: कार्डियक अरेस्ट (किसी मरीज की जान बचाने के लिए इमरजेंसी टीम एक्टिवेट)

कोड पिंक: बच्चे के अपहरण की स्थिति

कोड व्हाइट: वायलेंट या खतरनाक व्यक्ति

“कोड ब्लैक” सिर्फ एक शब्द नहीं, अस्पताल की सबसे गंभीर चेतावनी है। अगली बार जब आप हॉस्पिटल में यह शब्द सुनें, तो शांत रहें, स्टाफ के निर्देशों का पालन करें और समझें कि वहां कुछ असामान्य हो रहा है, जिससे जान का खतरा हो सकता है। यह कोड सिस्टम हमें यह भी याद दिलाता है कि अस्पताल सिर्फ इलाज का नहीं, बल्कि एक संवेदनशील और हाई-रिस्क वातावरण भी होता है, जहां अनुशासन और सतर्कता ही सबसे बड़ी सुरक्षा है।

 

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